सनी देओल (Sunny Deol) और मीनाक्षी शेषाद्रि (Meenakshi Seshadri) की फिल्म ‘दामिनी’ राजकुमार संतोषी द्वारा निर्देशित की गई थी. ये फिल्म साल 1993 में रिलीज की गई थी और ये फिल्म एक क्राइम ड्रामा फिल्म थी. इस फिल्म में मीनाक्षी शेषाद्रि और सनी देओल के अलावा ऋषि कपूर, अमरीश पुरी, टीनू आनंद, परेश रावल ने भूमिका निभाई थी. इस फिल्म की कहानी इस बात पर आधारित है कि कैसे एक महिला न्याय के लिए समाज से लड़ती है. वहीं सनी देओल ने इस फिल्म में न्याय के लिए लड़ने वाली लड़ाई को दिखाया.
फिल्म में अमरीश पुरी ने भी वकील की भूमिका निभाई थी लेकिन वह गलत लोगों के लिए लड़ते हैं. सनी देओल ने जहां अपने दमदार रोल को निभाकर अच्छे डायलॉग दिए. वहीं मीनाक्षी शेषाद्रि ने ऐसी एक्टिंग की जिसे देख लोगों के आंखों में आंसू आ गए थे.
मुझे नहीं चाहिए इंसाफ
दामिनी उर्फ मीनाक्षी शेषाद्रि ने इस फिल्म में एक ऐसी महीला का किरदार निभाया था जहां वो अपनी मेड का बलात्कार होते हुए देख लेती हैं. उस इंसाफ के लिए वो घर-घर भटकती दिखाई देती है. इस किरदार ने लोगों के दिलों को छू लिया था. यूं तो ये पूरी फिल्म ही जबरदस्त थी लेकिन इसके कोर्ट सीन आज भी याद किए जाते हैं. उस वक्त भी इन सीन्स पर सिनेमाघरों में खूब तालियां बजी थी.
न्याय के मंदिर में भी नहीं मिलता है इंसाफ
मीनाक्षी फिल्म में 'दामिनी' के किरदार में मानों खो सी गई. इस डायलॉग में मीनाक्षी ने उर्मी के बलात्कार पर प्रेस, समाज और पुलिस सभी को दोषी बताते हुए कहा, जिंदा इंसान को नोंच खाते हैं. मंदिर में देवी को कपड़े पहनाते हैं और मंदिर के बाहर महिलाओं को नंगा किया जाता है. उनके द्वारा बोले गए हर डायलॉग ने मानों सभी के रोंगटे खड़े कर दिए हों.
अमरीश पुरी और मीनाक्षी शेषाद्रि के बीच फिल्माया गया संवाद
कोर्ट रूम में अमरीश पुरी और मीनाक्षी शेषाद्रि के बीच फिल्माया गया संवाद भी फिल्म में कई मिनट का है. इसमें अमरीश पुरी अपने सवालों के जाल में दामिनी को उलझाते हुए नजर आ रहे हैं.