‘अक्ल ये कहती है दुनिया मिलती है बाज़ार में दिल मगर ये कहता है कुछ और बेहतर देखिए’ इसी बेहतर की तलाश में एक लव स्टोरी से दूसरी लव स्टोरी शुरु हुई थी जावेद अख्तर की. आपको बता दें जावेद अख्तर ने अपने जीवन में दो शादी की हैं. पहली शादी जावेद अख्तर ने हनी ईरानी से की थी और दूसरी शादी उन्होंने शबाना आज़मी (Love Story of Shabana Azmi and Javed Akhtar)  से साल 1984 में की थी. ऐसे तो बॉलीवुड में प्यार और इश्क़ की कई कहानियां आसानी से मिल जाएगी. लेकिन हिंदी सिनेमा जगत की एक ऐसी कहानी को आज भी याद किया जाता है जिसमें जावेद अख्तर ने अपने प्यार को पाने के लिए सब कुछ भुला दिया था.


आपको बता दें, जावेद अख्तर की हनी ईरानी से पहली मुलाकात फिल्म ‘सीता और गीता’  के सेट पर हुई थी. साल 1972 में आई फिल्म ‘सीता और गीता’ को जावेद अख्तर और सलीम खान ने लिखा था. फिल्म की शूटिंग खत्म होने के बाद पूरी टीम पत्ते खेल रहे थे. गेम में जावेद अख्तर के पत्ते लगातार खराब आ रहे थे और वो हारने लगे थे. उसी वक्त हनी जावेद के पास आई और उनसे कहा कि ‘लाओ तुम्हारे पत्ते मैं निकालती हूं.’


जिसके जवाब में जावेद ने बोला अगर पत्ते अच्छे निकले तो मैं तुमसे शादी कर लूंगा.' और उसके बाद पत्ते भी अच्छे आए जिसे देखकर जावेद हैरान हो गए थे और बोले  'चलो शादी कर लेते हैं.' साल 1972 में जावेद अख्तर ने हनी से शादी कर ली. उस समय हनी की उम्र 17 साल थी और जावेद फिल्म इंडस्ट्री में स्ट्रगल कर रहे थे.


शादी होते ही जावेद अख्तर को बॉलीवुड इंडस्ट्री में काम मिलना शुरु हो गया और प्रोफेशनल लाइफ अच्छी हो गई. इसके बाद जावेद की शबाना आज़मी से पहली मुलाकात मशहूर शायर  और शबाना के पिता कैफी आजमी के घर हुई. जावेद अख्तर को पहली नजर में ही शबाना आज़मी से प्यार हो गया था. साल 1984 में जावेद अख्तर ने अपनी पहली पत्नी से डिवोर्स ले लिया और शबाना ने शादी कर ली.