बिग बॉस 12 के फाइनलिस्ट और दूसरे रनरअप रहे बिहार के रहने वाले दीपक ठाकुर अपने गांव 'आथर' पहुंच चुके हैं. बिहार के मुजफ्फरपुर के आथर गांव जाने के लिए आज एकमात्र सहारा नाव है, मगर दीपक ठाकुर अपने गांव को आदर्श गांव बनाने का सपना देखा है.


'बिग बॉस सीजन-12' में तीसरा स्थान पाने वाले दीपक अपने गांव पहुंचने के लिए आज भी नाव की सवारी करते हैं, यही कारण है कि वे खुद को 'नदिया के पार' का निवासी बताते हैं. दीपक आज इस पिछड़े गांव से निकलकर बिहार का नाम रौशन किया है. बिग बॉस के 'रील लाइफ' से 'रियल लाइफ' में अपने गांव लौटे दीपक को इस बात का मलाल है कि आज बिहार की गांवों में कई समस्याएं हैं.


उनका कहना है कि आज बिहार में कई ऐसे गांव हैं जहां सड़कें नहीं हैं. अपने गांव के विषय में पूछे जाने पर मायूस दीपक कहते हैं कि कुछ दिन पहले इस गांव में बिजली तो आ गई है, मगर आज भी यहां न सड़कें हैं और ना ही अस्पताल.


हमेशा से अभिनेता सलमान खान के प्रशंसक रहे दीपक ने विशेष बातचीत में कहा, "मैं बचपन से वह सलमान खान का फैन रहा हूं. मैं उनसे मिलना चाहता था जो अब पूरा हो गया. अब मेरा सपना उनकी फिल्म में गाना गाने की है."


उन्होंने खुद को बिहारी कहलाने पर गौरवान्वित महसूस करने की बात करते हुए कहा कि उन्होंने अपने बचपन से लेकर जवानी तक बिहार के गांवों की पगडंडियों में गुजारी है. वे कहते हैं कि बिहार का होने पर गर्व है. उन्होंने बताया कि बिग बॉस में सलमान खान ने भी एक बार कहा था कि 'एक बिहारी, सब पर भारी.'


बचपन से ही संगीत में रुचि रखनेवाले दीपक को बचपन से ही गाने-बजाने का शौक रहा है. वे कहते हैं कि बचपन में उनके पापा पंकज ठाकुर 350 रुपये में तबला खरीद लाए थे, मगर एक बार पीपल के पेड़ से गिर जाने के कारण हाथ टूट गया और तबला छूट गया. इसके बाद पापा हारमोनियम ले आए और 12 साल की उम्र में ही इसे बजाने लगा.


वे कहते हैं, "मां-पापा आज भी बताते हैं कि बचपन से ही मैं जहां बैठता था वहीं टेबुल, बेंच या घर का बर्तन भी होता था तो उसपर भी तबला बजाने लगता था."


बकौल दीपक, "शुरुआत में गायकी के बल पर कुछ करने की चाहत का लोग मजाक उड़ाते थे, लेकिन परिवार का साथ बराबर मिला. शुरुआत में हर ओर निराशा जरूर मिली, मगर मैंने हिम्मत नहीं हारी. इसके बाद अनुराग कश्यप की फिल्म 'गैंग ऑफ वासेपुर' में गाने का मौका मिला."


पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम के उस वाक्य को याद करते हुए कहते हैं कि 'सपना वह होता है, जो सोने नहीं दे.' उन्होंने कहा कि इस बात का उन्हें मलाल है कि 'बिग बॉस' नहीं जीत सके, लेकिन इस बात की खुशी भी है कि 105 दिनों के इस सफर में उन्होंने करोड़ों लोगों का दिल जीत लिया है.


वे बताते हैं कि करणवीर बोहर ने अपनी प्रोडक्शन हाउस की फिल्म 'हमें तुमसे प्यार इतना' में गाने की ऑफर किया है. क्रिकेट खिलाड़ी श्रीसंत की पत्नी भुवनेश्वरी ने भी दीपक को फिल्म में काम करने का ऑफर दिया है. इसके अलावा धवन प्रोडक्शन हाउस से भी काम करने का ऑफर किया गया है.


बोचहा प्रखंड के आथर गांव के सामान्य परिवार से ताल्लुक रखनेवाले दीपक स्थानीय एक निजी विद्यालय से 10वीं, एल.पी. शाही कॉलेज से 12वीं और एल.एन. मिश्रा कॉलेज से बिजनेस मैनेजमेंट की पढ़ाई पूरी की. इसके बाद इलाहाबाद के गुरुवर महाविद्यालय से संगीत की शिक्षा ली.


दो बहनों- दीपिका और ज्योति के बीच इकलौता और बड़ा भाई दीपक कहते हैं कि उन्होंने संगीत की प्रारंभिक शिक्षा डॉ. संजय कुमार संजू से ली. इस सफल सफर के लिए उन्होंने अपने परिजनों और गुरु के सहयोग बताते हुए कहा, "आज मैं जहां हूं वहां पहुंचाने में परिजनों और गुरु के आशीर्वाद और हजारों चाहने वालों का प्यार है."


'बिग बॉस' से आने के बाद दीपक इन दिनों अपने गांवों में समय गुजर रहे हैं और मस्ती कर रहे हैं. वे कहते हैं कि बिग बॉस के घर में भी गांव की याद आती थी. उन्होंने कहा कि इस गांव के लिए मुझे काफी कुछ करना है, आखिर इसी गांव ने ही तो सफलता की पहला पाठ पढ़ाया है.


भविष्य की योजनाओं के विषय में पूछ जाने पर दीपक कहते हैं, "लोगों का मनोरंजन कर रहा हूं और आगे भी करता रहूंगा. लोग बस ऐसे ही प्यार देते रहें."


'बिग बॉस सीजन-12' की विजेता दीपिका कक्कड़ बनी थीं, जबकि दूसरे नंबर पर क्रिकेटर श्रीसंत रहे थे.