टेलीविजन धारावाहिक 'राम सिया के लव कुश' 'गलत धार्मिक जानकारी' फैलाने के लिए विवादों के घेरे में आ गया है. वायाकॉम18 ने अब यह कहते हुए बयान जारी किया है कि उनका उद्देश्य किसी विशेष समूह की भावनाओं को चोट पहुंचाने का नहीं है.
14 सितंबर को जारी एक बयान में वायाकॉम18 के एक प्रवक्ता ने कहा, "रामायण एक महाकाव्य है जो अपनी सूक्ष्म कहानियों के माध्यम से भारतीय मूल्यों की प्रशंसा विशेष रूप से करती है. 'राम सिया के लव कुश' कैमरे के माध्यम से इस महाकाव्य को सामने लाने का हमारा प्रयास है जिसके बारे में पहले कभी नहीं दिखाया गया है और इस प्रकार यह आज के जमाने और हर पीढ़ी के लिए सामयिक है."
इसमें आगे कहा गया, "इस शो की कहानी को रामायण पर आधारित विभिन्न किताबों, लेखों से लिया गया है और हमारा मकसद किसी भी विशेष समुदाय की भावनाओं को आहत करने का नहीं है."
यह बयान तब सामने आया जब 11 सितंबर को सूचना और प्रसारण मंत्रालय द्वारा 'राम सिया के लव कुश' के माध्यम से 'गलत धार्मिक जानकारी' फैलाने, महर्षि वाल्मीकि की छवि बिगाड़ने व धार्मिक भावनाओं को आहत पहुंचाने के लिए कलर्स टीवी को एक नोटिस जारी किया गया.
गायक से राजनीतिज्ञ बने हंस राज हंस ने भी कथित रूप से वाल्मीकि समुदाय की धार्मिक भावनाओं को चोट पहुंचाने के लिए केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर से इस पर बैन लगाने को कहा है. वाल्मीकि समुदाय ने इससे पहले पंजाब में विरोध प्रदर्शन किया था जिसमें एक युवक को गोली मार दी गई थी, लेकिन बाद में उसका ऑपरेशन भी किया गया था.