1 मई की शाम 6 बजे तक न तो चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ की प्रेस कॉन्फ्रेंस हुई थी और न ही लॉकडाउन बढ़ाने का गृह मंत्रालय का कोई आदेश आया था. लेकिन तब तक कोरोना से जुड़े कुछ नए आंकड़े सामने आ गए थे. इन आंकड़ों में बताया गया था कि देश में फिलहाल कोरोना के कुल 35363 पॉजिटिव केस हैं. इनमें से 1152 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 9064 लोग ठीक होकर अपने घर जा चुके हैं. ऐक्टिव केस की कुल संख्या फिलहाल 25148 है.
इन आंकड़ों से साफ था कि देश में कोरोना के आंकड़े लगातार बढ़ रहे हैं. लेकिन 1 मई को मौतों का जो आंकड़ा सामने आया, वो डराने वाला था. स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक पिछले 24 घंटे में कोरोना की वजह से 77 लोगों की मौत हुई है. एक दिन में कोरोना की वजह से ये सबसे अधिक मौतों का रिकॉर्ड है. इससे पहले भारत में एक दिन में सबसे अधिक 73 मौतें हुई थीं. वहीं पिछले 24 घंटे के दौरान भारत में कुल 1755 नए केस सामने आए हैं. वहीं 24 घंटे के दौरान कुल 692 लोग ठीक होकर अपने-अपने घरों को भेजे गए हैं.
कोरोना पॉजिटिव केस की संख्या के लिहाज से महाराष्ट्र पहले नंबर पर है, जहां कोरोना पॉजिटिव मरीजों का आंकड़ा 10,498 तक पहुंच गया है. पिछले 24 घंटे के दौरान महाराष्ट्र में 459 नए केस सामने आए हैं, वहीं 27 लोगों की मौत हुई है. दूसरे नंबर पर गुजरात है, जहां 4,395 केस हैं. वहीं दिल्ली में 3515 केस सामने आए हैं. वहीं तेलंगाना भी अब वो राज्य बन गया है, जहां पर कोरोना के मामलों की संख्या एक हजार को पार कर गई है. 1 मई की शाम को कोरोना का अपडेट देने के लिए हुई प्रेस कॉन्फ्रेंस में एंपॉवर्ड ग्रुप 3 के चेयरमैन पीडी वाघेला ने बताया कि इस कोरोना से लड़ने के लिए देश को कुल 70,000 वेंटिलेटर की ज़रूरत है. इसमें से 19,398 वेंटिलेटर काम कर रहे हैं और 60,884 वेंटिलेटर का ऑर्डर दिया जा चुका है.
साफ है कि पहले 24 मार्च और फिर 15 अप्रैल से लगे लॉकडाउन के बाद भी कोरोना के खिलाफ वो कामयाबी नहीं मिल पाई है, जिसकी उम्मीद थी. हालांकि इस दौरान सरकारी कोशिशों का नतीजा था कि टेस्टिंग की संख्या बढ़ गई, कोरोना की रफ्तार थम गई और संक्रमण के बाद ठीक होकर घर जाने वालों का आंकड़ा भी बढ़ गया. इस बीच 1 मई को हुई सबसे ज्यादा मौतों ने सरकार को फिर से सोचने पर मज़बूर कर दिया. वहीं हालात बिगड़ने पर वेंटिलेटर का पर्याप्त मात्रा में मौजूद न होना भी सरकार के लिए चिंता का विषय बना हुआ था. लिहाजा पहले राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ हुई बातचीत और फिर एंपॉवर्ड ग्रुप से साथ हुई बातचीत के बाद ये तय किया गया कि 4 मई से लॉकडाउन का तीसरा चरण शुरू होगा.
उम्मीद है कि इस तीसरे चरण में हम कोरोना को रोकने में कामयाब होंगे. अभी देश में कुल 319 जिले ग्रीन जोन में हैं. वहीं 284 जिले ऑरेंज जोन में और 130 जिले रेड जोन में हैं. सरकार की पहली प्राथमिकता ऑरेंज जोन को ग्रीन जोन में और रेड जोन को ऑरेंज जोन में बदलने को लेकर है. और उम्मीद है कि लॉ़कडाउन के इस तीसरे चरण में सरकार और स्वास्थ्य विभाग इस रास्ते को तय कर लेगा.