इस पृथ्वी पर कई ऐसी जगहें हैं जो एक दम जादुई नजर आती हैं. यहां घटने वाली घटनाएं ऐसी होती हैं कि आप देखकर हैरान हो जाएंगे. आज हम आपको इसी तरह के एक जगह के बारे में बताने जा रहे हैं जिसे दुनिया का अंतिम छोर भी कहा जाता है. कहा जाता है कि यहीं दुनिया खत्म हो जाती है. सबसे बड़ी बात की इस जगह को जादुई बनाता है यहां का मौसम और वातावरण. यहां पूरे 6 महीने तक सूरज निकलता ही नहीं है, यानी हर तरफ अंधेरा ही अंधेरा रहता है और फिर 6 महीने तक सूरत अस्त ही नहीं होता है, यानि रात ही नहीं होती. चलिए जानते हैं इस जादुई जगह के बारे में.
कहां ये जगह?
जिस जादुई जगह की हम बात कर रहे हैं, उसे अंटार्कटिका महा्द्वीप कहा जाता है. ये दुनिया का सबसे खतरनाक पर्यटन स्थल भी कहलाता है. इस जगह वही टूरिस्ट घूमने जाते हैं, जिन्हें मौत से डर नहीं लगता. इस जगह का 98 फीसदी हिस्सा पूरे साल बर्फ की मोटी चादरों से ढका रहता है.दक्षिणी ध्रुव पर मौजूद इस महाद्वीप में ऐसी बर्फीली हवाएं चलती हैं कि ये किसी भी इंसान को पल भर में जमां दें.
क्यों होती 6 महीने की रात
दक्षिणी ध्रुव पर मौजूद अंटार्कटिका महाद्वीप पर 6 महीने दिन और 6 महीने रात रहती है. सर्दियों के समय में जहां पूरी दुनिया में लोगो गुनगुनी धूप का आनंद लेते हैं, उस वक्त यहां घुप अंधेरा रहता है. इस अंधेरे में ये जगह एक ऐसे बियाबान की तरह लगती है, जहां जीवन की कल्पना करना भी संभव नहीं है. हालांकि, इसके बावजूद भी इस जगह की सबसे ऊंची चोटी पर भारत का झंडा फहराया जा चुका है.
दरअसल, अंटार्कटिका महाद्वीप की सबसे ऊंची चोटी विंसन पर्वत माला करीब 4,892 मीटर ऊंची है. आपको जानकर गर्व होगा कि पद्मश्री डॉ. अरुणिमा सिन्हा इस पर्वत की चोटी पर भी भारतीय ध्वज फहरा चुकी हैं. हालांकि, यहां घूमने का अगर आप प्लान कर रहे हैं तो आपको एक बार और सोच लेना चाहिए. ये जगह इतनी खतरनाक है कि यहां मौत किस पल हो जाए कुछ कहा नहीं जा सकता.
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