CAA Rules: क्या कोई राज्य सरकार सीएए लागू करने से इनकार कर सकती है, एडवोकेट की जुबानी जानें क्या कहता है भारतीय कानून?
CAA Rules Notification: देश में सीएए लागू किए जाने के बाद लोगों में कई तरह के सवाल हैं. हालांकि कुछ राज्यों की सरकारों ने इस फैसले को लागू करने से भी मना किया था.
Citizenship Amendment Act: लोकसभा चुनाव 2024 की घोषणा से पूर्व केंद्र सरकार की तरफ से नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) को लागू कर दिया है. लेकिन कुछ राज्यों की सरकारों ने देश में इसके लागू होने से पहले इसे लागू करने से मना किया था. लेकिन क्या किसी राज्य की सरकार इस फैसले को लागू करने से इंकार कर सकती हैं, आइए जानते हैं...
सीएए लागू होने के बाद ABP Live ने एडवोकेट, कमलेश मिश्रा से बातचीत की. इस दौरान उन्होंने कहा कि इसका जो भी प्रभाव है इतनी जल्दी देखने को नहीं मिलेगा. कई राज्यों ने इस कानून को लागू न होने की बात कही थी जिस पर श्री मिश्र ने कहा कि सीएए का कानून एक इन्क्लूसिव कानून है. ये कानून कहता है कि जो लोग पाकिस्तान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान जैसे देशों से आए हैं उन्हें हम सिटीजनशिप देंगे. ये ऐसा नहीं कहता है कि हम नागरिकता नहीं देंगे या फिर हम किसी को बहार निकाल देंगे.
एडवोकेट, कमलेश मिश्रा ने बताया कि राज्य सरकारों की सहभागिता इसमें आवश्यक होगी. हालांकि ये नहीं कहा जा सकता है कि वह पूरी तरह इस पर रोक लगा पाएंगे, राज्य कुछ अर्चने पैदा कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि इम्प्लिमेंटिंग एजेंसी कौन होगी ये भी देखना होगा. कई जगह सरकार ने ऑनलइन को काफी बढ़ावा दिया है. अगर ये माना जाए कि एप्लीकेशन ऑनलाइन है तो आवेदन तो ऑनलाइन हो जाएगा. लेकिन वेरिफिकेशन जैसे कार्य एफआरआरओ (FRRO) के जरिए होंगे.
भारत सरकार का होगा अल्टीमेट निर्णय
कमलेश मिश्रा ने कहा कि प्रदेशों में ज्यादातर जो राज्यों के पुलिस अधिकारी हैं उनके पास इस प्रकार के कार्यों की जिम्मेदारी है. इम्प्लीमेंटिंग एजेंसी इसलिए कहीं ना कहीं राज्य हो जाते हैं. क्योंकि ये पुलिस अधिकारी राज्यों के कण्ट्रोल में होते हैं तो वह इसमें अर्चने डाल सकते हैं. उन्होंने कहा कि नागरिकता देना पूरी तरह केंद्र सरकार के हाथ में है. राज्य किसी भी देश को सिटिजनशिप नहीं दे सकता है. उन्होंने कहा नागरिकता के मामले में आखिरी फैसला भारत सरकार का ही होगा.
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