अजूबा: इस देश में नहीं है कोई नदी, फिर कैसे पूरी होती है पानी की जरूरत
धरती पर नदियों के किनारे ही दुनिया की महान सभ्यताएं विकसित हुईं. क्या आप किसी ऐसे देश की कल्पना कर सकते है, जहां एक भी नदी ना हो.
Country Without River: पानी के बिना धरती पर जीवन की कल्पना नहीं कर सकते. बिना पानी के हमारी पूरी दिनचर्या पर भी फर्क पड़ता है. आपने सुना होगा की भारत के बहुत से शहरों में भूमिगत जल खत्म हो गया है या खत्म होने के कगार पर है. हमारे देश में पीने के पानी की जरूरत का बड़ा हिस्सा नदियों के पानी से पूरा होता है.
धरती पर नदियों के किनारे ही दुनिया की महान सभ्यताएं विकसित हुईं. क्या आप किसी ऐसे देश की कल्पना कर सकते है जहाँ एक भी नदी ना हो. वहां के लोग अपनी पानी की जरूरत को कैसे पूरा करते होंगे. आज हम आपको ऐसे ही एक देश के बारे में बताएंगे जहां एक भी नदी नहीं है-
इस देश में नहीं है नदी-
सऊदी अरब विश्व के नक्शे पर एक ऐसा देश है जहां एक भी नदी या झील भी नहीं है. लेकिन फ़िर भी वह सम्पन्न देशों में शुमार है. यहाँ तक की सऊदी अरब में बारिश भी न के बराबर यानी प्रतिवर्ष सिर्फ एक से दो दिन ही होती है. बारिश न होने से भूमिगत जल भी रिचार्ज नहीं हो पाता.
यही कारण है कि सऊदी अरब को पानी पर बहुत अधिक खर्च करना पड़ता है. गौरतलब है कि विश्व बैंक के रिपोर्ट के अनुसार सऊदी अरब हर साल अपनी जीडीपी का दो प्रतिशत पानी पर खर्च करता है.
कैसे पूरी होती है पानी की जरूरत-
सऊदी अरब अधिकतर भूमिगत जल पर निर्भर है. वहां पानी के लिए आज भी लोग कुओं का इस्तेमाल करते हैं. हालाँकि भूमिगत जल इतना पर्याप्त नहीं है कि पूरी जनता को पानी मिल सके.
कुछ आंकड़ों के अनुसार यहाँ का भूमिगत जल भी जल्दी ही खत्म हो जायेगा. यह एक दिलचस्प बात है कि सऊदी अरब में समुद्र के पानी को पीने योग्य बनाकर इस्तेमाल किया जाता है. हालांकि यह प्रक्रिया बहुत ही महंगी है.
समुद्र से घिरा है सऊदी अरब-
सऊदी अरब नदी न होने के बाद भी दो ओर से समुद्र से घिरी है. इसके पश्चिम में जहां लाल सागर और पूरब में फारस की खाड़ी से घिरा हुआ है. इनका दोनों समुद्र का बहुत ही व्यापारिक महत्व है.लाल सागर के रास्ते होकर ही स्वेज नहर पड़ती है.
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