कैसे होगी कुवैत में जले भारतीयों की पहचान? जानिए आखिर क्या है वो टेस्ट
कुवैत में मंगाफ में एक बिल्डिंग में आग लगने के चलते 40 भारतीयों सहित 49 विदेशी श्रमिकों ने दम तोड़ दिया, ऐसे में सवाल ये उठता है कि आखिर इन भारतीयों की पहचान के लिए किस तरह का टेस्ट किया जाएगा?
कुवैत इन दिनों मंगाफ की एक इमारत में लगी आग के चलते चर्चाओं में है. इस इमारत में 40 भारतीयों सहित 49 मजदूर काम कर रहे थे, जिनकी इस हादसे में मौत हो गई. हादसे में कुछ शव इतने बुरी तरह जल गए हैं कि उनकी पहचान करना भी मुश्किल है. ऐसे में सवाल ये उठता है कि आखिर इन शवों की पहचान कैसे की जाएगी?
कैसे की जाएगी कुवैत की इमारत में जले मजदूरों की पहचान?
कुवैत में बिल्डिंग में जले भारतीयों में कुछ के शव इस तरह जल चुके हैं कि उनकी पहचान कर पाना भी मुश्किल हो रहा है, जिसके चलते अब डीएनए टेस्ट के माध्यम से इन शवों की पहचान की जाएगी. DNA का मतलब है डीऑक्सीराइबो न्यूक्लिक एसिड होता है. ये इंसान से लेकर जीवों तक में पाया जाता है, जो पूर्वजों या हमारे वंश के बारे में सटीक जानकारी देता है. इसकी संरचना सीढीनुमा होती है. जैसे हर माता-पिता का डीएनए एक जैसा नहीं होता, बल्कि माता पिता से मिलकर बच्चे का डीएनए बनता है, जो हर इंसान का अलग होता है लेकिन उसके माता-पिता से मेल खाता है.
कैसे पता चलता है डीएनए किसका है?
डीएनए किसी व्यक्ति के पैरेंट्स के मिलान से पता चलता है. इससे ये भी तय हो जाता है कि वो इंसान किस परिवार का है. अब सवाल ये उठता है कि आखिर इसके लिए सैंपल कैसे लिए जाते हैं? तो बता दें कि डीएनए के लिए सैंपल कई तरीकों से लिए जाते हैं, खून, थूक, लार, दांत, बाल, हड्डियां, नाखून और पेशाब के सैंपल इस टैस्ट में शामिल होते हैं.
अब बात कुवैत में जली इमारत में मजदूरों की करें तो इस इमारत में जिन मजदूरों की जलकर मौत हुई है उनमें से कुछ की सिर्फ हड्डियां भी बची हैं. अब इन्हीं से मजदूरों के सैंपल लिए जा सकते हैं. जांच के लिए एक्सपर्ट्स सैंपल्स को अलग-अलग करते हैं, उनकी जांच करते हैं और फिर तैयार की जाने वाली रिपोर्ट में उसकी पूरी डिटेल देते हैं. इस टेस्ट में एक से दो हफ्तों का समय लग सकता है.
राजीव गांधी की हत्या में भी किया गया था डीएनए टेस्ट
बहुत से ऐसे मामले हैं जिन्हें डीएनए टेस्ट के माध्यम से सुलझाया गया है. फिर वो देश के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी हत्याकांड हो या फिर बेअंत सिंह हत्या कांड इनमें भी डीएनए टेस्ट का सहारा लिया गया था. इसके अलावा नैना साहनी जैसे कैसेस में भी डीएनए टेस्ट का सहारा लिया गया था. इसके इतर भी कई मामले ऐसे रहे हैं जिन्हें डीएनए टेस्ट के माध्यम से सुलझाया गया है.
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