ट्रेन में अगर झगड़ा हो जाए तो किस से करें शिकायत, RPF है गलत जवाब
RPF का काम होता है भारतीय रेलवे की संपत्ति की सुरक्षा करना. इसके अलावा रेलवे संपत्ति पर गैर-कानूनी कब्जे को रोकना, उससे जुड़े मामलों की जांच करना जैसे मामले आरपीएफ के अंडर में आते हैं.
ट्रेन में सफर करते समय आपने कई बार देखा होगा कि दो लोगों के बीच में झगड़ा हो जाता है. कई बार तो नौबत मार पीट तक आ जाती है. अब ऐसे में सवाल उठता है कि अगर आपकी ट्रेन में लड़ाई हो गई या फिर किसी ने आपसे ट्रेन में बदतमीजी कि तो आप कहां जा कर इसकी शिकायत कर सकते हैं. कई बार हमें लगता है कि ट्रेन में अगर कुछ होता है तो हम RPF से शिकायत कर सकते हैं, लेकिन क्या आरपीएफ इसके लिए सही जगह है. चलिए आपको इससे जुड़ी पूरी जानकारी देते हैं.
क्या करती है आरपीएफ
आरपीएफ का मतलब रेलवे प्रोटेक्शन फोर्स. इसका काम होता है भारतीय रेलवे की संपत्ति की सुरक्षा करना. इसके अलावा रेलवे संपत्ति पर गैर-कानूनी कब्जे को रोकना, उससे जुड़े मामलों की जांच करना जैसे मामले आरपीएफ के अंडर में आते हैं. इसके अलावा महिलाओं के लिए निर्धारित डिब्बों में गैर कानूनी तरीके से घुसने वालों को रोकना, रेलवे की छत पर चढ़ने वालों को रोकना, अनधिकृत वेंडिंग करना, दलाली करना या इस तरह के मामलों से निपटने का काम रेलवे प्रोटेक्शन फोर्स यानी RPF करती है.
फिर झगड़े की शिकायत कैसे करें
अगर आपका ट्रेन में किसी से झगड़ा हो गया तो आपको तुरंत जीआरपी को इसकी सूचना देनी चाहिए. इस मामले में सारा अधिकार जीआरपी यानी राजकीय रेलवे पुलिस के पास होती है. दरअसल, जीआरपी का काम होता है रेलवे के क्षेत्र में सुरक्षा सुनिश्चित करना. इसके अलावा जीआरपी रेलवे के क्षेत्र में गश्त लगाने का काम भी करती है. आपको बता दें, रेलवे क्षेत्र में किसी भी गिरफ्तारी का अधिकार सिर्फ जीआरपी के पास होता है.
लेकिन अगर अपराध गंभीर है तो फिर जीआरपी इस मामले को स्थानीय पुलिस को सौंप देती है. इसलिए अगर अगली बार आपका किसी से झगड़ा हो तो आरपीएफ के पास जाने की बजाय जीआरपी के पास जाएं.
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