Indian Army: जम्मू-कश्मीर में डोडा जिले के डेसा में 5 लोगों की मौत हो गई, दरअसल आतंकियों ने यहां फायरिंग कर दी, जिसमें 4 जवान शहीद हो गए और एक पुलिसकर्मी की भी मौत हो गई. इस हमले में कुल 5 जवान शहीद हुए हैं. दरअसल राष्ट्रीय राइफल्स और जम्मू-कश्मीर पुलिस यहां सोमवार को अपना सर्च ऑपरेशन चला रही थी. इस दौरान आतंकी फायरिंग करते हुए भागे और घना जंगल होने का फायदा उठाकर भाग निकले. वहीं सोमवार की ही रात फिर गोलीबारी हुई. इस हमले में 5 जवान गंभीर रूप से घायल हो गए, जिन्होंने इलाज के दौरान ही अपना दम तोड़ दिया. अब सवाल ये उठता है कि देश की रक्षा करते हुए शहीद हुए जवानों को सरकार क्या सुविधाएं देती है?


देश के लिए शहीद हुए जवान को ये सुविधाएं देती है सरकार


देश की रक्षा करते हुए शहीद सैनिकों के परिवारों को आर्मी ग्रुप इंश्योरेंस के तौर पर 25 लाख रुपये सरकार द्वारा दिए जाते हैं. इसके साथ आर्मी वाइव्स वेलफेयर एसोसिएशन, सैनिक कल्याण बोर्ड सहित कई संगठन शहीदों के परिवारों की वित्तीय मदद भी करते हैं. शहीदों की विधवाओं को हर महीने पेंशन भी दी जाती है. इसके अलावा केंद्र सरकार द्वारा 10 लाख रुपये और शहीद जिस राज्य का निवासी होता है वो राज्य भी शहीद के परिवार की वित्तीय मदद करता है. हालांकि राज्यों की ओर से मदद के तौर पर दी जाने वाली धनराशि एक समान न होकर अलग-अलग होती है.


पढ़ाई और इलाज का खर्च


रक्षा मंत्रालय द्वारा प्रेस इन्फॉर्मेशन ब्यूरो (PIB) पर दी गई जानकारी के मुताबिक, शहीदों के परिवार के बच्चों को पढ़ाई और इलाज के खर्च में छूट भी मिलती है. दी गई जानकारी की मानें तो शहीद या मिसिंग सैनिकों के बच्चों को पूरी ट्यूशन फीस दी जाती है. इसके अलावा स्कूल बस का खर्च और रेलवे पास भी दिया जाता है. साथ ही बोर्डिंग स्कूल और कॉलेज में पढ़ने वाले बच्चों की हॉस्टल फीस, हर साल 2000 रुपये कॉपी-किताब का खर्च, 2000 रुपये तक यूनिफॉर्म खर्च, कपड़े का 700 रुपये, ईसीएचएस में फ्री इलाज भी दिया जाता है. इसके लिए ईसीएचएस की फ्री मेंबरशिप दी जाती है.


साथ ही शहीदों की विधवाओं को पेट्रोल पंप आवंटन जैसी सुविधाएं भी मिलती हैं. इसके अलावा पीआईबी पर दी गई जानकारी के मुताबिक, MBBS में कुल 42 और बीडीएस कोर्स में 3 सीटें शहीदों के बच्चों के लिए आरक्षित होती हैं. इसके अलावा शहीदों की विधवाओं को रेल यात्रा में छूट के लिए कंसेशन कार्ड भी दिया जाता है.


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