जब भी अमेरिका की बात होती है तो अमेरिका की गिनती अमीर देशों के रुप में होती है. लोगों का मानना होता है कि अमेरिका इतना अमीर है कि वहां बिल्कुल भी गरीबी नहीं है और वहां हर कोई भारत के अमीरों की जैसी लाइफस्टाइल को फॉलो कर रहा है. लेकिन, ऐसा नहीं है. दरअसल, अमेरिका में भी काफी लोग ऐसे हैं, जो गरीबी रेखा से नीचे अपना जीवन यापन कर रहे हैं और उन्हें दो टाइम के खाना जुगाड़ने के लिए भी काफी मेहनत करनी पड़ रही है.
ऐसे में आज हम आपको बताते हैं कि अमेरिका में गरीबी के क्या हालात हैं और गरीबी को लेकर अमेरिका के आंकड़े क्या कहते हैं. इसके बाद आप समझ पाएंगे कि अमेरिका में गरीबी के क्या हालात हैं...
कैसे होती है गरीबों की गणना?
अमेरिका में कितने लोग गरीबी रेखा से नीचे है, ये जानने से पहले आपको बताते हैं कि आखिरी अमेरिका में गरीबों की गिनती किस आधार पर की जाती है. अमेरिका में हर राज्य के आधार पर कमाई के आधार बनाए गए हैं और उन राज्यों की कमाई के आधार पर ही गरीबों का पता किया जाता है. इसके साथ ही परिवार में कितने सदस्य हैं, उसके आधार पर कमाई के स्लैब बनाए गए हैं और उससे कम कमाई करने वाले लोगों को गरीब की कैटेगरी में रखा जाता है.
जैसे अगर घर में एक सदस्य है तो कम से कम 12880 डॉलर, 2 सदस्य हैं तो 17420 डॉलर, तीन सदस्य हैं तो 21960 डॉलर और चार सदस्य हैं तो 26500 डॉलर एक परिवार की आय होनी चाहिए. बता दें कि अमेरिका में भी गरीबी का कारण असमानता, महंगाई, बेरोजगारी, शिक्षा और कर्ज है. माना जा रहा है कि इन सभी में इजाफा होने की वजह से गरीबी रेखा के नीचे आने वाले लोगों की संख्या में इजाफा हो रहा है.
अमेरिका में कितने गरीब?
अमेरिका के मानकों के हिसाब से अमेरिका में 37 मिलियन लोग गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन कर रहे हैं और ये आंकड़ा साल 2020 का है. साल 2020 में यह आंकड़ा पहले से बढ़ा है और 2020 में इसमें 3.3 मिलियन का इजाफा हुआ है. इसके साथ ही ये भी कहा जाता है कि अगर इसमें कम कमाई वाले लोगों को जोड़ दिया जाए, जो गरीबी रेखा से नीचे तो नहीं हैं, लेकिन उनकी कमाई काफी कम है, तो ये आंकड़ा 140 मिलियन तक पहुंच जाएगा. वैसे करीब 11.6 फीसदी लोग गरीबी रेखा से नीचे रह रहे हैं.
रिपोर्ट्स के अनुसार, गरीबी रेखा में महिलाओं का प्रतिशत ज्यादा है. जैसे साल 2018 में 10.6 फीसदी पुरुष और 12.9 फीसदी महिलाएं गरीबी रेखा से नीचे जीवन यापन कर रहे थे. इसके अलावा सिर्फ 4.7 फीसदी शादीशुदा जोड़े ही गरीबी रेखा से नीचे हैं. वहीं, सिंगल पैरेंट परिवारों में 12.7 परिवार गरीबी रेखा से नीचे हैं. बता दें कि पिछले कुछ सालों में 18 साल की उम्र से कम उम्र वाले गरीबों की संख्या में कमी आई है. अगर क्षेत्र के हिसाब से देखें तो कई क्षेत्रों में काफी ज्यादा हालात खराब हैं.
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