बॉलीवुड अभिनेत्री सोनाक्षी सिन्हा अपने ब्वॉयफ्रेंड अजहर इकबाल से शादी करने वाली हैं. ऐसे में सोशल मीडिया पर इस शादी से जुड़े कई तरह के सवाल उठ रहे हैं. सबसे बड़ा सवाल यह है कि अगर शादी मुस्लिम मैरिज एक्ट के तहत हुई तो फिर सोनाक्षी को इसके लिए क्या-क्या करना होगा? क्या उन्हें अपना धर्म बदलना होगा? चलिए आपको इसके बारे में विस्तार से जानकारी देते हैं.


निकाह के लिए क्या करना पड़ता है?


मुस्लिम मैरिज एक्ट के मुताबिक, अगर कोई हिंदू लड़की मुस्लिम लड़के से शादी यानी निकाह करना चाहती है तो उसे सबसे पहले अपना धर्म बदलना पड़ता है. दरअसल, इस्लामी कानून के तहत एक मुसलमान ऐसी किसी भी लड़की से शादी नहीं कर सकता, जो मूर्तिपूजक हो. यही वजह है कि शादी से पहले लड़की को अपना धर्म बदल कर इस्लाम कुबूल करना होता है. हाल ही में एक खबर आई थी, जब 'ससुराल सिमर का' सीरियल फेम दीपिका कक्कड़ ने एक मुस्लिम एक्टर सुहैल से शादी करने के लिए अपना धर्म बदल लिया था. धर्म बदलने के बाद उन्हें नया नाम फैजा मिला था.


स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत शादी करेंगे, तब क्या होगा?


अगर सोनाक्षी शादी करने के लिए अपना धर्म नहीं बदलना चाहती हैं तो वह स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत शादी कर सकती हैं. इस एक्ट के तहत दो अलग-अलग धर्मों के लोग बिना अपना धर्म बदले आसानी से शादी कर सकते हैं. साल 1954 में बना यह कानून देश के हर व्यक्ति पर लागू होता है, चाहे वह किसी भी धर्म या जाति से ताल्लुक रखता हो. स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत शादी करने के लिए लड़की की उम्र 18 साल और लड़के की उम्र 21 साल होनी चाहिए.


स्पेशल मैरिज एक्ट में ऐसे होगी शादी


आइए आपको बताते हैं कि स्पेशल मैरिज एक्ट में शादी के लिए क्या-क्या करना होता है. बता दें कि इस एक्ट के तहत शादी करने के लिए कपल को शादी से 30 दिन मैरिज रजिस्ट्रेशन ऑफिस में आवेदन देना होगा. अगर अगले 30 दिन के अंदर शादी को लेकर कोई आपत्ति मिलती है तो मैरिज रजिस्ट्रेशन ऑफिस के कर्मचारी इसकी जांच करते हैं और आपत्ति सही मिलने पर मैरिज रजिस्ट्रेशन ऑफिस को यह अधिकार होता है कि वह आपकी शादी के लिए मना कर दे. इस शादी के लिए लगने वाले दस्तावेजों की बात करें तो इसके लिए लड़का-लड़की को अपना पहचान पत्र और एड्रेस प्रूफ देना जरूरी होता है.


ये भी पढ़ें: सांसद की छोड़ी सीट पर उपचुनाव का खर्च कौन उठाता है, चुनाव आयोग या वह नेता, कितना पैसा होता है खर्च?