Heavy Winds Alert: मौसम विभाग ने कहा है कि उत्‍तर प्रदेश, दिल्‍ली, उत्‍तराखंड सहित कई राज्‍यों के कुछ जिलों में इस सप्‍ताह तेज रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं. अनुमान है कि इस दौरान हवा की रफ्तार 40 किमी प्रतिघंटा या इससे ज्‍यादा रह सकती है. साथ ही गरज-बरस के साथ बारिश की बौछारें पड़ सकती हैं. ऐसे में, आइए जानते हैं कि हवा की कितनी रफ्तार का क्या असर होता है और कब यह खतरनाक होती है.


कैसे मापी जाती है हवाओं की ताकत


हवा की ताकत आमतौर पर दो तरीकों से मापी जाती है. पहला है औसत या औसत हवा की गति= 10 मिनट के समयांतराल में औसत हवा की गति. दूसरा होता है, हवा के झोंके= एक छोटी अवधि (आमतौर पर कुछ सेकंड) के लिए हवा की रफ्तार में अचानक हुई वृद्धि.


40 किमी/घंटा रफ्तार की हवा क्‍या करेगी?


40-50 किमी/घंटा रफ्तार की हवा लगातार चलने से विशाल पेड़ों क बड़ी शाखाएं डोलने लगती हैं. इस रफ्तार की हवा में अगर आप छतरी लेकर बाहर निकलेंगे तो हवा में छतरी पलट सकती है. 


76-87 किमी/घंटा


अगर हवा की औसत रफ्तार 76-87 किमी/घंटा होगी, तो यह पेड़ों की बड़ी शाखाओं को तोड़ सकती है. यहां तक कि मजबूती से कसी टीनशेड या छप्‍पर को उड़ा सकती है. इसके अलावा, समंदर में ऊंची और बड़ी-बड़ी लहरें उठ सकती हैं. ऐसे में मौसम विभाग मछुआरों को समुद्र में न जाने की चेतावनी देता है. इस रफ्तार की हवाओं से जान-माल का नुकसान संभव है.


इतनी रफ्तार पर उखड़ने लगते हैं पेड़?


हवा की रफ्तार 88-102 किमी/घंटा होने पर पेड़ जड़ से उखड़ना शुरू हो जाते हैं. इस गति की हवाएं इमारतों को भी नुकसान पहुंचा सकती हैं. तेज रफ्तार हवाओं के साथ जब बारिश होती है तो मिट्टी गीली गीली हो जाती है, साथ ही पानी में भीगने के कारण पेड़ का वजन भी बढ़ जाता जाया है. ऐसे में ये हवाएं आसानी से इन्हे उखाड़ फेंकती हैं.


कब हवा मचा सकती है भारी तबाही


ऐसा बहुत कम बार होता है कि हवा की रफ्तार 103-117 किमी/घंटा हो. लेकिन, ये हवाएं भीषण तबाही मचा देती हैं. इनके कारण पेड़ों, घरों, इमारतों सहित हवाईअड्डों, दूरसंचार से जुड़ी इमारतों, पुलों और सड़कों सहित बहुत भारी नुकसान होता है. ये हवाएं बेहद शक्तिशाली होती हैं और अपने रास्‍ते में आने वाली हर चीज को उड़ा ले जाने की क्षमता भी रखती हैं. ऐसी हवाओं के साथ मूसलाधार बारिश और कई जगहों पर आकाशीय बिजली गिरने की घटनाएं भी होती हैं.


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