हवाई जहाज में इस्तेमाल होने वाला फ्यूल महंगा या गाड़ी में पड़ने वाला पेट्रोल? जानिए कीमत
हवाई जहाज को उड़ने के लिए फ्यूल की जरूरत होती है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि फ्लाइट में कौन सा फ्यूल इस्तेमाल होता है? क्या हवाई जहाज में पड़ने वाला फ्यूल पेट्रोल से महंगा होता है?
हवाई जहाज हो या कार दोनों में फ्यूल की जरूरत होती है. क्योंकि बिना फ्यूल के हवाई जहाज उड़ नहीं सकता है और बिना फ्यूल के कार सड़कों पर चल नहीं सकती है. लेकिन सवाल ये है कि आखिर इन दोनों फ्यूल में अंतर क्या होता है और कौन सा फ्यूल ज्यादा महंगा होता है? आज हम आपको बताएंगे कि दोनों फ्यूल में बेसिक अंतर क्या है.
कार
बता दें कि अमूमन कार पेट्रोल से चलती है. हालांकि कुछ कार डीजल, बिजली और सीएनजी गैस से भी चलती है. हालांकि दुनियाभर में सभी ईंधन के दाम घटते और बढ़ते रहते हैं. भारत की राजधानी नई दिल्ली में 1 अप्रैल 2024 के दिन पेट्रोल रेट की कीमत 94.72 रुपए प्रति लीटर, डीजल रेट की कीमत 87.62 रुपए प्रति लीटर था. वहीं कोलकाता में पेट्रोल रेट की कीमत 103.94 रुपए प्रति लीटर और डीजल रेट की कीम 90.76 रुपए प्रति लीटर था. इसके अलावा में मुंबई में पेट्रोल की कीमत 104.21 रुपए प्रति लीटर और डीजल की कीमत 92.15 रुपए प्रति लीटर था. वहीं चेन्नई में पेट्रोल की कीमत 100.75 रुपए प्रति लीटर और डीजल की कीम 92.34 रुपए प्रति लीटर था. बेंगलुरु में पेट्रोल की कीमत 99.84 रुपए प्रति लीटर, डीजल रेट 85.83 रुपए प्रति लीटर था. चंडीगढ़ की बात करें तो वहां पर पेट्रोल 94.24 रुपए प्रति लीटर और डीजल 82.40 रुपए प्रति लीटर था. नोएडा में पेट्रोल कीमत 94.83 रुपए प्रति लीटर, डीजल 87.96 रुपए प्रति लीटर था.
हवाई जहाज में कौन सा ईंधन
बता दें कि हवाई जहाज में ना तो पेट्रोल ना ही डीजल भरा जाता है. एरोप्लेन में ख़ास जेल फ्यूल का इस्तेमाल होता है. इसे एविएशन केरोसिन के नाम से जाना जाता है. अब हम आपको बताएंगे कि इस एविएशन केरोसिन की कीमत कितनी होती है. हम फ्यूल का जो रेट आपको बताएंगे कि ये 1 अप्रैल 2024 के हैं. देश की राजधानी दिल्ली में जेट फ्यूल की कीमत 1,00,893.63 रुपए प्रति किलोलीटर है. वहीं कोलकाता में कीमत 1,09,898.61 रुपए प्रति किलोलीटर पर है. मुंबई में 94,466.41 और चेन्नई में 1,04,973.36 रुपए प्रति किलोलीटर है.
पंख में भरते हैं फ्यूल
बता दें कि हवाई जहाज में पंखों में फ्यूल भरा जाता है. इससे प्लेन का बैलेंस बना रहता है. क्योंकि अगर फ्यूल प्लेन के पीछे हिस्से में होगा तो जब प्लेन उड़ने जाएगा तो इसके आगे का हिस्सा उठ जाएगा और जब जब फ्यूल खत्म होगा तो फिर आगे का हिस्सा झुक जाएगा. फ्लाइट में बैलेंस बनाकर रखने के लिए फ्यूल को पंखों में भरा जाता है.
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