33 करोड़ में बिके अल्बर्ट आइंस्टीन के लेटर में क्या है खास, जानिए किसको लिखा था ये लेटर
वैज्ञानिक अल्बर्ट आइंस्टीन के सिद्धांतों पर अभी भी दुनिया चल रही है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि अभी हाल ही में उनका एक लेटर 33 करोड़ में नीलाम हुआ है, जानिए आखिर उस लेटर में क्या था खास.
अल्बर्ट आइंस्टीन को कौन नहीं जानता है. दुनियाभर के महान वैज्ञानिकों में उनकी गिनती आज भी होती है. उनके बनाए गए नियमों पर अभी भी वैज्ञानिक काम कर रहे हैं. आज हम आपको अभी हाल ही में वैज्ञानिक अल्बर्ट आइंस्टीन के निलाम हुए लेटर के बारे में बताएंगे. जिसको उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति को लिखा था.
अल्बर्ट आइंस्टीन
नोबल प्राइज विनर अल्बर्ट आइंस्टीन को लोग एटम बम का भी श्रेष्य देते हैं. इसको लेकर एक लेटर का जिक्र किया जाता है, जिसे आइंस्टीन ने पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति फ्रैंकलिन डी रूजवेल्ट को लिखा था. इससे अमेरिका के सीक्रेट न्यूक्लियर प्रोग्राम ‘मैनहेटन प्रोजेक्ट’ को शुरू करने में मदद मिली थी. इसके अलावा जर्मनी के परमाणु कार्यक्रम को लेकर भी चिंता जाहिर की गई थी. बता दें कि एक नीलामी में यह लेटर करीब 33 करोड़ रुपये में बिका है.
किसने बनाया एटम बम?
बता दें कि मैनहेटन प्रोजेक्ट अमेरिका का एटम बम बनाने का प्रोजेक्ट था. वहीं दुनिया का पहला एटम बम बनाने का श्रेष्य ओपेनहाइमर को दिया जाता है. कहा जाता है कि एटम बम बनाने के दौरान कई तकनीकी दिक्कतों का सामना करना पड़ा था. लेकिन जब आइंस्टीन को पता चला था कि जर्मन इन समस्याओं को हल करने में सफल हो सकते हैं, तो उन्होंने राष्ट्रपति फ्रैंकलिन डी रूजवेल्ट को इसके बारे में आगाह किया था. आइंस्टीन ने इसके लिए 1939 में राष्ट्रपति फ्रैंकलिन डी रूजवेल्ट को एक लेटर लिखा था, कहा जाता है कि इस लेटर ने परमाणु बम बनाने के अमेरिकी प्रयास को शुरू करने में मदद की थी. आइंस्टीन ने यह लेटर एक अन्य वैज्ञानिक लियो सिजलार्ड की मदद से लिखा था.
अमेरिका का एटम बम
जानकारी के मुताबिक 1940 और 1941 में दो खोज ने दिखाया कि बम बनाना संभव था. एटम बम बनाने में इस्तेमाल किए जाने वाले यूरेनियम के ‘क्रिटिकल मास’ का पता लग गया था और यह पुष्टि भी हो गई थी कि प्लूटोनियम फिजन से गुजर सकता है और बम में इस्तेमाल किया जा सकता है. जिसके बाद दिसंबर 1941 में सरकार ने एटम बम बनाने के लिए मैनहेटन प्रोजेक्ट शुरू किया था.
बता दें कि इससे पहले भी आइंस्टीन से जुड़ी चीजों की नीलामी हो चुकी है. 2021 में आइंस्टीन की थियरी ऑफ़ रियालिटी सिद्धांत के कुछ दुर्लभ दस्तावेज़ों की नीलामी हुई थी. ये दस्तावेज़ $13 मिलियन (108 करोड़ रुपये) में बिके थे. हालांकि पत्रों के मामले में ये आइंस्टीन का नया रिकॉर्ड होगा. वहीं साल 2018 में उनका एक पत्र 23.5 करोड़ में बिका था, जिसमें उन्होंने ईश्वर और धर्म के बारे में बात की थी.
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