पूरी दुनिया साल 2024 में पहुंच चुकी है. लेकिन अगर आप आजादी या उसके बाद के जीवित लोगों से मिलेंगे तो वो कई तरह के किस्से कहानियां सुनाते हैं, जिसमें अक्सर वो पैसों का जिक्र करते हैं. आपने पुराने लोगों को ये कहते हुए भी सुना होगा कि हमारे समय में तो 10 पैसे में अनाज या अन्य कोई सामान मिल जाता था. लेकिन आज महंगाई बहुत बढ़ चुकी है. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि जब हमारे यहां चवन्नी-अठन्नी चलता था, तो पाकिस्तान में क्या चलता था ? 


पाकिस्तानी पैसा


आजादी के समय भारत में चवन्नी-अठन्नी और पैसा के रूप में करेंसी का इस्तेमाल होता था. लेकिन बंटवारे के वक्त पाकिस्तान में कोई केंद्रीय बैंकिंग सिस्टम मौजूद नहीं था. उस दौरान पाकिस्तान ने पूरे एक साल तक भारत की करेंसी का इस्तेमाल किया था. बंटवारे के बाद जब पाकिस्तान मुल्क बना, उस वक्त पाकिस्तान के पास खुद की करेंसी नहीं थी. इसलिए भारत का बैंक भारतीय स्टेट बैंक पाकिस्तान को मुद्रा की आपूर्ति कर रहा था और इसने स्टेट बैंक ऑफ पाकिस्तान की स्थापना तक एक साथ केंद्रीय बैंक के रूप में काम किया था. इतना ही नहीं पाकिस्तान ने शुरूआती एक साल तक  भारतीय रुपये को अपनी पहली करेंसी के रूप में इस्तेमाल किया था और उस पर अंग्रेजी में पाकिस्तान सरकार छपा था और नोट के सफेद क्षेत्र पर उर्दू में हुकूमत-ए-पाकिस्तान छपा था. जानकारी के मुताबिक ये सिलसिला करीब एक साल तक चला था. 


पाकिस्तानी करेंसी


पाकिस्तान की करेंसी भी लगभग भारतीय करेंसी जैसी ही दिखती है. पाकिस्तान में करेंसी को पाकिस्तानी रुपया कहते हैं. वहीं आजादी के बाद करेंसी में जिस तरीके से भारत आगे बढ़ता गया, पाकिस्तान में आगे बढ़ा था. उदाहरण के लिए जब भारत में 50 पैसे का चलन शुरू हुआ तो पाकिस्तान में भी पैसे का चलन शुरू हुआ था. आज के दौर में भारत में 1 रुपये, 2 रुपये, 5 रुपये, 10 रुपये, 20 रुपये, 50 रुपये, 100 रुपये, 200 रुपये, 500 रुपये, 2000 रुपये के चलन में है. वैसे ही लगभग पाकिस्तान में भी है. हालांकि भारत ने कुछ साल पहले ही 1000 रुपये के नोट को बंद किया था, जबकि 2000 रुपये का नोट शुरू किया है. वहीं पाकिस्तान के स्टेट बैंक की आधिकारिक वेबसाइट पर दी गई जानकारी के मुताबिक वहां 5 रुपये, 10 रुपये, 20 रुपये, 50 रुपये, 100 रुपये, 500 रुपये, 1000 रुपये और 5000 रुपये का नोट चलन में है. यानी वहां 5000 रुपये का नोट भी चलता है. 


 


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