देश के सभी हिस्सों में कानून एवं व्यवस्था को बनाए रखने के लिए पुलिस का अहम योगदान होता है. पुलिस देश के अलग-अलग राज्यों में सुरक्षा व्यवस्था और अपराध पर काबू करने के साथ आम लोगों की मदद के लिए होती है. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि पुलिस की गाड़ी में लाल और नीले रंग का इस्तेमाल क्यों किया जाता है. आज हम आपको इसके पीछे की वजह बताएंगे.
पुलिस
देश की सीमाओं के लिए जिस तरीके से सेना की तैनाती की गई है. वैसे देश के अंदर कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस है. देश के सभी राज्यों में पुलिस के जवान तैनात रहते हैं. वहीं पुलिस के जवानों को सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखने और पेट्रोलिंग के लिए गाड़ियां उपलब्ध कराई गई हैं. लेकिन क्या आप जानते हैं कि पुलिस की सभी गाड़ियों पर लाल और नीले रंग का इस्तेमाल क्यों किया जाता है.
पुलिस की गाड़ी पर लाइट
आपने देखा होगा कि पुलिस की गाड़ियों पर लाल और नीले रंग की बत्ती का इस्तेमाल किया जाता है. इसके अलावा पुलिस की गाड़ी पर लाल और नीले का रंग स्टीकर भी लगा रहता है. जानकारी के मुताबिक पहले पुलिस द्वारा आम लोगों का ध्यान अपनी तरफ खींचने और अन्य लोगों की गाड़ी से खुद की गाड़ी को अलग दिखाने के लिए सिर्फ एक ही लाइट का इस्तेमाल होता था, जो कि गाड़ी के ऊपर लगी रहती थी, जिसे अंग्रेजी में Beacon Light भी कहा जाता है.
पुलिस के लोगो में लाल और नीला रंग
अब सवाल ये है कि पुलिस के चिह्न में लाल और नीला रंग क्यों होता है. दरअसल लाल रंग का इस्तेमाल आपातकाल का संकेत देता है, जो कि दिखाता है कि संबंधित वाहन या भवन आपातकाल सेवाओं के लिए है. वहीं नीला रंग कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस की उपस्थिति को दर्शाता है. यही वजह है कि पुलिस द्वारा लाल और नीले रंग का इस्तेमाल किया जाता है.
पुलिस की गाड़ियों के ऊपर भी आपने लाल और नीली बत्तियों को देखा है, जो कि दूर से ही दिख जाती हैं. ऐसे में लाल और नीले रंग का मिश्रण लोगों का यह आभास कराता है कि उनके बीच पुलिस मौजूद है. कुछ गंभीर परिस्थितियों में पुलिस की ओर से हूटर का भी इस्तेमाल किया जाता है. इसके अलावा नीला रंग दिन के समय भी दूर से दिख जाता है.
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