Breast Cancer Cases In Delhi: दिल्ली में ब्रेस्ट कैंसर के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. दिल्ली के बड़े अस्पतालों में ब्रेस्ट कैंसर के 10 से 15 फीसदी मामले 32 साल से कम उम्र की महिलाओं में देखे जा रहे हैं. इन आंकड़ों से साफ है कि अब कम उम्र की लड़कियां भी ब्रेस्ट कैंसर चपेट में आ रही हैं. दरअसल अब तक ब्रेस्ट कैंसर के ज्यादातर मामले अधिक उम्र की महिलाओं में देखे जाते रहे, लेकिन अब कम उम्र की लड़कियां भी शिकार हो रही हैं. आंकड़े बताते हैं कि भारत में स्तन कैंसर महिलाओं में होने वाला सबसे आम कैंसर है. इसके सालाना 2 लाख से ज़्यादा मामले सामने आते हैं.
क्या हैं ब्रेस्ट कैंसर के लक्षण?
जानकार बताते हैं कि ब्रेस्ट कैंसर भारत में तेजी से बढ़ता हुआ कैंसर का एक प्रकार है, जो एक आम गांठ से शुरु होता है और इसमें वक्त के साथ ब्रेस्ट के आकार में बदलाव देखने को मिलता है, जिनपर ध्यान न देने से कैंसर की यह कोशिकाएं असामान्य रूप से बढ़ना शुरू हो जाती हैं. ऐसे में जरूरी है कि इससे जुड़े लक्षण दिखाई देने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क किया जाए. वहीं, जिन महिलाओं की उम्र 50 साल से कम है और जो एक बार ब्रेस्ट कैंसर का इलाज करा चुकी हैं, उनमें दोबारा कैंसर होने का रिस्क 86 प्रतिशत तक बढ़ जाता है. जबकि दूसरी जगह पहले इसका इलाज करा चुकी 50 साल से ज्यादा उम्र की महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर होने की आशंका 17 प्रतिशत से ज्यादा है.
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ब्रेस्ट कैंसर से कैसे बचा जा सकता है?
अब सवाल है कि ब्रेस्ट कैंसर से कैसे बचा जाए? दरअसल ऐसा माना जाता है कि स्तन कैंसर के कारणों में हार्मोनल प्रभाव, मोटापा, शराब, धूम्रपान, और आनुवंशिकी शामिल हैं. स्तन कैंसर को रोकने के लिए जागरूकता, व्यायाम, वज़न नियंत्रण, और नियमित जांच करानी चाहिए.
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स्तन कैंसर का आकार छह महीने में करीब दोगुना बढ़ सकता है. स्टेज 4 स्तन कैंसर का इलाज संभव नहीं है, लेकिन उपचार से इसे कई सालों तक नियंत्रित किया जा सकता है.
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