How To Claim Car Insurance: कार बीमा पॉलिसी (Car Insurance Policies) चुनते वक्त क्लेम सेटलमेंट की प्रक्रिया, आवश्यक दस्तावेज, समय और अतिरिक्त खर्चों को अच्छे से समझ लेना चाहिए. ऐसा इसलिए क्योंकि हर बीमा की तरह कार बीमा की भी सेटलमेंट प्रक्रिया जितनी सरल होगी, बीमा लेने का मकसद उतना सफल होगा. कार बीमा क्लेम करने पर सेटलमेंट की प्रक्रिया दो तरह से होती है. पहला है कैशलेस सेटलमेंट (Cashless Claim Settlement) और दूसरा है रिंबर्समेंट क्लेम सेटलमेंट (Reimbursement Claim Settlement).
क्या होता है कैशलेस क्लेम सेटलमेंट?
कार के दुर्घटनाग्रस्त, चोरी, गुम हो जाने या कार के नुकसान की भरपाई के लिए जब हम उसकी बीमा कंपनी से रिपेयर, भरपाई आदि के लिए इंश्योरेंस क्लेम सेटलमेंट की मांग करते हैं और बीमा कंपनी की ओर से खर्चों का वहन किया जाता है तो उसे कैशलेस सेटलमेंट कहते हैं. यहां कैशलेस का तात्पर्य हमारी ओर से किये गए शून्य पेमेंट को दर्शाता है. झंझट से बचने के लिए कई लोग कैशलेस क्लेम सेटलमेंट का ही विकल्प चुनते हैं. वैसे तो पॉलिसी और कंपनी पर कैशलेस सेटलमेंट की प्रक्रिया निर्भर करती है लेकिन आमतौर पर लगभग सभी का तरीका एक जैसा ही होता है.
स्टेप-1: बीमा कंपनी को सूचित करें
रोड एक्सिडेंट या कार के साथ किसी भी तरह की दुर्घटना होते ही बिना देरी किये बीमा कंपनी को सूचित करें. घटना के जितनी जल्दी आप बीमा राशि क्लेम की प्रक्रिया शुरू करेंगे, आपको परेशानी उतनी ही कम होगी. यह करने के लिए आप बीमा कंपनी के कस्टमर केयर को फोन करें. कंपनी की ओर से आपका क्लेम रजिस्टर करने के बाद क्लेम रेफरेंस नंबर (Claim Register Number) दिया जाएगा. इसे नोट कर लें.
स्टेप-2: नुकसान का आंकलन
क्लेम रजिस्ट्रेशन के बाद बीमा कंपनी की ओर से सर्वेयर (Insurance Claim Surveyor) नियुक्त किया जाएगा. सर्वेयर के स्तर से कार को हुए नुकसान का आंकलन किया जाएगा. इस काम को आप खुद भी ऑनलाइन कर सकते हैं. कंपनी की ओर से आपको लिंक (Self-Inspection Link) भेजा जाएगा जिस पर पूछे गए सवाल और मांगी गई जानकारियों को भरकर कंपनी को भेजना होगा. इसके बाद कंपनी की ओर से डैमेज की भरपायी या रिपेयर की राशि का आंकलन किया जाएगा.
स्टेप-3: कार गराज तक ले जाकर रिपयेर कराना
कई कार बीमा कंपनियां दुर्घटना के बाद रिपेयर के लिए कार को अपने स्तर से गराज तक पहुंचाती हैं. कई कंपनिया कार गराज तक ले जाने (Car Towing Fees) के लिए 1500 रुपये तक का खर्च खुद उठाती हैं या फिर कार के मालिक से इसकी पेमेंट लेती हैं. यह पॉलिसी पर निर्भर करता है.
स्टेप-4: क्लेम सेटलमेंट
कार रिपेयर का खर्च कंपनी की ओर से उठाया जाता है. इसका भुगतान कंपनी की ओर से सीधे गराज को किया जाता है. हालांकि, पॉलिसी में जो खर्च शामिल नहीं हैं, उसकी पेमेंट कार के मालिक को गराज को देनी पड़ती है. सारी पेमेंट होने पर कार मालिक अपनी कार ले जा सकता है.
विशेषज्ञों के अनुसार कार के हल्के-फुल्के नुकसान की रिपेयर के लिए बीमा राशि क्लेम नहीं करनी चाहिए. वैसे तो आप साल में कई बार अपनी बीमा राशि क्लेम कर सकते हैं लेकिन पॉलिसी रिन्यू करवाने पर आपका प्रीमियम रेट बढ़ सकता है. इससे बचने के लिए छोटे-छोटे रिपेयर आप अपनी जेब से ही करवा लें.
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