History Of Aligarh: उत्तर प्रदेश में अगले साल चुनाव होने वाले हैं. चुनाव से पहले प्रदेश की भाजपा सरकार राज्य के कुछ शहरों के नाम बदलने की तैयारी में हैं. उन शहरों में अलीगढ़ का नाम भी शामिल है. भाजपा अलीगढ़ का नाम 'हरिगढ़' करने की तैयारी में है. आपको बता दें कि अलीगढ़ को 18 वीं सदी में कोल या कोइल नाम से जाना जाता था. इस स्थान का नाम कोइल इसलिए था क्योंकि यहां कोइल नाम की एक जनजाति रहती थी. अलीगढ़ मे आज भी आपको कई पुराने किले, डोर किले और खंडहर देखने को मिलते हैं.
पहले अलीगढ़ में दोर राजपूतों का था राज
ऐसा माना जाता है कि जब मुस्लिम आक्रमणकारियों ने यहां आक्रमण किया उससे कुछ वक्त पहले दोर राजपूत यहां राज किया करते थें. बाद में इस स्थान की खुदाई पर कई बौद्ध मूर्तियों के अवशेष भी मिले थें. इन अवशेषों के साथ-साथ यहां हिंदू मंदिरों के भी अवशेष मिले थे. कई इतिहासकारों के मुताबिक 1194 ईस्वी में, कुतुब-उद-दीन ऐबक दिल्ली से कोइल तक गए. यहां एक किला हुआ करता था जिसे 'भारत के सबसे भव्य किलों' में से एक माना जाता था.
इब्नबतूता ने बताया है स्थान का इतिहास
कुतुब-उद-दीन ऐबक के वहां पहुंचने के बाद हिसम-उद-दीन उलबक को कोइल का पहला मुस्लिम गवर्नर नियुक्त कर लिया गया. इब्नबतूता द्वारा लिखी गई किताब में यह कहा गया है कि साल 1541 में चीन के युआन राजवंश के मंगोल सम्राट उखंतु खान का प्रतिनिधित्व करने वाले 15 राजदूतों के साथ 1341 में कंबय (गुजरात में) के तट पर आए. यहां से उन्होंने कोइल की यात्रा की. इब्नबतूता ने इस स्थान को 'आम लोगों का अच्छा शहर' कहा. बाद में इसका नाम हरिदेश पड़ गया था. आपको बता दें कि इस स्थान पर मुगल शासक जहांगीर भी गए थे जहां उन्होंने भेड़िए का शिकार किया था.
हरिगढ़ से इस तरह बना अलीगढ़
बता दें कि इब्राहिम लोधी के समय साल 1524-25 में इस शहर का पुनर्निर्माण कराया गया था. साल 1753 में इस किले पर मुस्लिम शासक के कब्जा कर लिया था. इससे पहले इस स्थान पर राजा बहादुर सिंह और मुस्लिम सेना का युद्ध हुआ. इस युद्ध में राजा बहादुर सिंह की हार हुई और शिया कमांडर नजाफ खान ने इस स्थान का नाम अलीगढ़ रख दिया. बाद में इस यहां अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय की स्थापना साल 1875 में की गई थी. सर सैयद अहमद खान ने अलीगढ़ में मुहम्मद एंग्लो ओरिएंटल कॉलेज की स्थापना की और ऑक्सफोर्ड और कैम्ब्रिज विश्वविद्यालयों के अनुसार इस विश्वविद्यालय की पढ़ाई का पैटर्न दिया. बाद में इस विश्वविद्यालय का नाम साल 1920 में अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (Aligarh Muslim University) पड़ गया.
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