Christmas day 2020: हर साल ईसा मसीह के जन्मदिन के अवसर पर क्रिसमस का त्यौहार मनाया जाता है. मगर इस बार उसकी खुशियों पर कोरोना वायरस का साया मंडरा रहा है. महामारी ने जश्न, उत्सव, आयोजन और समारोहों पर पानी फेरने का काम किया है. ब्रिटेन में कोरोना वायरस की नई किस्म का पता चलने के बाद पूरी दुनिया डर के साए में है. संक्रमण से बचाव के लिए कई देशों में उड़ानों को रोक दिया गया है. कुछ देशों ने सख्त लॉकडाउन का रास्ता भी अपनाया है. जिसकी वजह से ईसाइयों के सबसे महत्वपूर्ण त्यौहार पर खलल पड़ गई है.


हर साल 25 दिसंबर को मनाए जानेवाले त्यौहार के मौके पर लोग एक दूसरे को गिफ्ट्स देते हैं. पार्टी कर ईसा मसीह के जन्म की खुशियों को साझा करते हैं. स्वादिष्ट पकवान पकाए जाते हैं और घरों, चर्चों को रंग-बिरंगे सजावट से सजाया जाता है. पूरी दुनिया में क्रिसमस का पर्व 12 दिनों तक मनाया जाता है. 12 दिनों तक चलने वाले इस पर्व में हर दिन कुछ न कुछ खास होता है.


जानिए क्रिसमस के 12 दिन




पहला दिन यानी 25 दिसबंर: इसे क्रिसमस का पहला दिन कहा जाता है. इस दिन से ही क्रिसमस का जश्न शुरू हो जाता है. पहले दिन को ईसाई प्रभु ईसा मसीह के जन्मदिन के रूप में मनाते हैं.


दूसरा दिन यानी 26 दिसंबर: इस दिन को बॉक्सिंग डे के रूप में मनाया जाता है और उसे सेंट स्टीफन डे के नाम से भी जाना जाता है. माना जाता है कि ईसाई धर्म के लिए सबसे पहले अपनी कुर्बानी देनेवाले सेंट स्टीफन थे.


तीसरा दिन यानी 27 दिसंबर: यह दिन सेंट जॉन को समर्पित होता है. ये ईसा मसीह से प्रेरित और उनके मित्र माने जाते हैं.


चौथा दिन यानी 28 दिसंबर:  इस दिन के बारे में कहा जाता है कि किंग हीरोद ने ईसा मसीह को ढूंढते समय कई मासूम लोगों का कत्ल कर दिया था और  उन्हीं मासूम लोगों की याद में उनके लिए प्राथना का आयोजन किया जाता है.


पांचवां दिन यानी 29 दिसंबर: आज का दिन सेंट थॉमस को समर्पित होता है. 12वीं सदी में चर्च पर राजा के अधिकार को चुनौती देने पर उन्हें आज ही के दिन  कत्ल कर दिया गया था. 29 दिसंबर को ईसाई धर्मावलंबी उन्हें याद करते हैं.


छठा दिन यानी 30 दिसंबर: इस दिन ईसाई धर्म के माननेवाले लोग सेंट ईगविन ऑफ वर्सेस्टर को याद करते हैं.


सातवां दिन यानी 31 दिसंबर: ऐसा कहा जाता है कि पोप सिलवेस्टर ने इस दिन को मनाया था. कई यूरोपियन देशों में न्यू ईयर इव को सिलवेस्टर कहा जाता है. आज के दिन खेलकूद आयोजित किए जाते हैं. नए साल से पहले की शाम के रूप में भी इस दिन को मनाने की परंपरा है.


आठवां दिन यानी 1 जनवरी: आज का दिन क्रिसमस का आंठवां दिन होता है. यह दिन ईसा मसीह की मां मदर मैरी को समर्पित है.


नौवां दिन यानी 2 जनवरी: आज के दिन चौथी सदी के सबसे पहले ईसाई ‘सेंट बसिल द ग्रेट’ और ‘सेंट ग्रेगरी नाजियाजेन’ को याद किया जाता है.


दसवां दिन यानी 3 जनवरी: मान्यता है कि इस दिन ईसा मसीह का नाम रखा गया था. इस दिन चर्च को खास तौर पर सजाया जाता है और गीत गाए जाते हैं.


ग्यारहवां दिन यानी 4 जनवरी: 18वीं और 19वीं सदी की सेंट एलिजाबेथ अमेरिका की पहली संत थीं. इस दिन उन्हें याद किया जाता है.


बारहवां दिन यानी 5 जनवरी: ये क्रिसमस पर्व का आखिरी दिन माना जाता है. इस दिन को एपीफेनी भी कहा जाता है. यह दिन अमेरिका के पहले बिशप सेंट जॉन न्यूमन को समर्पित है.


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