(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
क्या मल्टीविटामिन्स, ओमेगा-3, प्रोबायोटिक्स और विटामिन डी सप्लीमेंट कोरोना का खतरा करते हैं कम? जानिए
महिलाओं को मल्टी विटामिन्स, ओमेगा-3, प्रोबायोटिक्स या विटामिन डी सप्लीमेंट्स का लेना कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के खतरे को थोड़ा कम कर सकता है. शोधकर्ताओं का कहना है कि स्पष्ट फायदा पुरुषों के लिए नहीं पाया गया या कोई प्रभाव उन लोगों में नहीं मिला जो जिंक, विटामिन सी या लहसुन के सप्लीमेंट्स इस्तेमाल करते हैं.
मल्टी विटामिन्स, ओमेगा-3, प्रोबायोटिक्स या विटामिन डी सप्लीमेंट्स कोरोना पाजिटिव पाए जाने के खतरे को कम कर सकते हैं- कम से कम महिलाओं में. ये खुलासा बीएमजे न्यूट्रिशन प्रिवेंशन एंड हेल्थ पत्रिका में ऑनलाइन प्रकाशित हुआ है. रिसर्च में पाया गया कि विटामिन सी, जिंक या लहसुन के सप्लीमेंट्स वायरस से पॉजिटिव पाए जाने का खतरा कम नहीं करते.
महिलाओं को डाइटरी सप्लीमेंट्स क्या कोरोना से बचाते हैं?
शोधकर्ताओं ने बताया कि डाइटरी सप्लीमेंट्स का समर्थन कोविड-19 संक्रमण से बचाव और इलाज के लिए महामारी की शुरुआत से मशहूर हस्तियां करती रही हैं, जिसके चलते सिर्फ ब्रिटेन में पिछले साल राष्ट्रीय लॉकाउडन के दौरान विटामिन सी की बिक्री में 110 और मल्टीविटामिन्स की बिक्री में 93 फीसद की वृद्धि हुई. उसी तरह, अमेरिका में कोविड-19 के खौफ से जिंक सप्लीमेंट्स की बिक्री मार्च के पहले सप्ताह में बढ़कर 415 फीसद तक हो गई. डायटरी सप्लीमेंट्स से इम्यून सिस्टम को स्वस्थ रखने में मदद मिल सकती है, लेकिन क्या विशेष सप्लीमेंट्स कोरोना वायरस से संक्रमित होने के खतरे को कम कर सकती है, शोधकर्ताओं का कहना है कि अभी ये मालूम नहीं है. उसके लिए शोधकर्ताओं ने कोविड-19 सिम्पटम स्टडी एप के व्यस्क यूजर की सेवाएं ली ये पता लगाने के लिए कि क्या सप्लीमेंट्स का नियमित इस्तेमाल करनेवालों में कोविड-19 की पहचान का खतरा कम होता है.
शोधकर्ताओं ने पुरुषों के लिए नहीं पाया स्पष्ट फायदा
एप को ब्रिटेन, अमेरिका और स्वीडन में मार्च 2020 में लॉन्च किया गया था जहां लोग अपनी स्थिति की रिपोर्ट दर्ज करा सकते थे. शुरुआत में जगह, उम्र और एप के यूजर का प्रमुख स्वास्थ्य जोखिम का फैक्टर दर्ज किया गया. लेकिन वक्त गुजरने पर उनसे लक्षण, कोरोना वायरस के टेस्ट के नतीजे और हेल्थ केयर समेत विभिन्न मुद्दों पर रोजा अपडेट मुहैया कराने को कहा गया. रिसर्च के लिए शोधकर्ताओं ने एप को इस्तेमाल करनेवाले 3 लाख 72 हजार यूजर के उपलब्ध जानकारी का विश्लेषण किया. उन्होंने मई से जुलाई 2020 के दौरान डाइटरी सप्लीमेंट्स और कोरोना वायरस टेस्ट के नतीजे की जानकारी दी. मई और जुलाई के बीच ब्रिटेन के 1 लाख 75 हजार यूजर ने नियमित डाइटरी सप्लीमेंट्स का इस्तेमाल किया और 1 लाख 97 हजार लोगों ने नहीं किया.
मई और जुलाई के बीच कुल 23 हजार 521 लोग कोरोना वायरस की जांच में पॉजिटिव पाए गए और 3 लाख 49 हजार से ज्यादा लोगों का टेस्ट निगेटिव आया. शोधकर्ताओं ने सामान्य डाइट और चिह्नित स्थितियों समेत विभिन्न बीमारियां और अन्य फैक्टर को ध्यान में रखते हुए पाया कि प्रोबायोटिक्स, ओमेगा-3 फैटी एसिड यानी मछली तेल के कैप्सूल, मल्टीविटामिन्स या विटामिन डी का इस्तेमाल कोरोना वायरस से संक्रमित होने का खतरा 14, 12, 13 और 9 फीसद तक कम कर सकता है. हालांकि, जिंक, विटामिन सी या लहसुन के सप्लीमेंट्स ऐसा प्रभाव नहीं डाल सके. जब शोधकर्ताओं ने लिंग, उम्र और वजन का जायजा लिया, तो पता चला कि सिर्फ हर उम्र और वजन की सभी महिलाओं को प्रोबायोटिक्स, मछली का तेल, मल्टी विटामिन्स और विटामिन डी से सुरक्षा मिलती है. लेकिन पुरुषों में इस तरह का स्पष्ट संबंध नहीं पाया पाया गया.
होम क्वारंटीन के लिए जरूरी वस्तुओं की सूची में ये चीजें हैं आवश्यक, जानें
IIT दिल्ली के स्टार्टअप ने डेवलप किया मल्टीपर्पज स्प्रे NANOSHOT, 96 घंटे तक रहेगा प्रभावी
Check out below Health Tools-
Calculate Your Body Mass Index ( BMI )