Importance Of Maang Teeka: हिंदू धर्म में टीका को सौभाग्य की निशानी माना जाता है. करवा चौथ समेत पति के लिए कई दूसरे व्रत में महिलाएं टीका पहनती हैं. टीका सोलह श्रृंगार में विशेष महत्व रखता है. महिला के श्रृंगार को पति और खुशहाल परिवारिक से जोड़कर देखा जाता है. शादी में खासतौर से महिलाएं टीका पहनती हैं. आजकल टीका पहनने का फैशन भी है. आपको एक से एक सुंदर डिजाइन में टीका मिल जाएंगे. मांग में सिंदूर और उसके ऊपर टीका पहनने के बाद महिला की सुंदरता में निखार आ जाता है. टीका हिंदू और मुस्लिम दोनों धर्म के लोग पहनते हैं. आइये जानते हैं टीका को बीच मांग में ही क्यों पहना जाता है.
मांग टीका का धार्मिक महत्व
हिंदू धर्म में टीका शादीशुदा महिला के सुहाग का प्रतीक है. महिलाएं मांग के बीच में टीका पहनती हैं. वेदों में जिक्र किया गया है कि महिलाएं जब श्रृगांर करें तो उन्हें सबसे पहले मांग टीका धारण करना चाहिए. इसके पीछे की वजह है कि मांग में टीका पति के लगाए गए सिंदूर की रक्षा करता है. इससे आपके सुहाग की रक्षा होती है.
कहां पहनते हैं मांग टीका
मांग टीका माथे पर लटकता हुआ दोनों भवों के बीच तक पहुंचता है. इसे मांग के बीच पहना जाता है. टीका को सिंदूर का रक्षक माना जाता है. इसलिए सुहागिन महिलाओं को मांग में टीका जरूर पहनना चाहिए.
सोहल श्रृंगार में टीके का महत्व
विवाह के समय दुल्हन के लिए ससुराल से जो गहने आते हैं उनमें मांग टीका भी शामिल होता है. ये सुहाग की निशानी माना जाता है. मांग टीका दुल्हन की खूबसूरती को बढ़ा देता है.
टीका पहनने का वैज्ञानिक कारण
टीका पहनने के पीछे कई वैज्ञानिक कारण भी बताए जाते हैं. कहा जाता है कि मांग में टीका पहनने से सिर दर्द, तनाव और कई तरह की मानसिक समस्याएं दूर हो जाती हैं. मांग टीका पहनने से शरीर का टेंपरेचर भी कंट्रोल रहता है.
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