नईदिल्ली: अगर आप शाकाहारी हैं तो इस खबर को जरूर पढ़ें. वैज्ञानिकों ने शाकाहा‍रियों खासतौर पर महिलाओं को चेताया है कि अगर वे शाकाहरी हैं तो संभव है कि वे प्रीमैच्योर बेबी को जन्म दें.

क्या कहती हैं रिसर्च-
शोधकर्ताओं ने एक रिसर्च में पाया कि जो लोग मीट, अंडे और डेयरी प्रोडक्ट का सेवन नहीं करते उनमें विटामिन बी 12 डेफिशिएंसी और न्यूट्रिशंस की कमी होने की पूरी आशंका रहती है. प्रेग्नेंट महिलाओं की डायट बैलेंस और हेल्दी होनी चाहिए ताकि भ्रूण का विकास सही तरह से हो सके.

रिसर्च में पाया गया है कि 21 पर्सेंट महिलाओं में विटामिन बी की कमी के कारण प्रीमैच्योर बेबी होने का खतरा रहता है. विटामिन बॉडी के फंक्शन को सुचारू रूप से चलने के लिए भी जरूरी है. ये रेड ब्लेड सेल्स का प्रोडक्शन बढ़ाता है.

विटामिन की कमी के नुकसान-
लंबे समय तक विटामिन की कमी के कारण एनीमिया भी होने का खतरा रहता है. साथ ही नर्वस सिस्टम भी डैमेज हो सकता है. इतना ही नहीं, प्रेग्नेंसी में विटामिन की कमी से और भी कई तरह के कॉम्पिलकेशन हो जाते हैं.

रिसर्च में ये भी देखा गया है कि जो महिलाएं प्रेग्नेंसी में हाई लेवल के एनी‍मल प्रोडक्ट का सेवन करती हैं उनमें बहुत ही कम मात्रा में विटामिन की कमी पाई जाती है.

किसने की रिसर्च-
नॉर्वे यूनिवर्सिटी ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी के शोधकर्ताओं ने 11 देशों की 11,216 महिलाओं पर विटामिन के लेवल की जांच की. रिसर्च में पाया गया कि विटामिन के लो लेवल से न्यू बोर्न बेबी के वजन पर कोई असर नहीं पड़ता.

रिसर्च के नतीजे-
रिसर्च के नजीतों में पाया गया कि विटामिन की कमी से 37 हफ्तों से पहले ही प्रीमैच्योर बर्थ होने का खतरा रहता है. स्टडी ऑथर टॉरमोड का कहना है कि विटामिन बी 12 आमतौर पर मिल्क, अंडे और मीट में पाया जाता है.

ये रिसर्च अमेरिकन जर्नल ऑफ एपिडेमिआलजी में पब्लिश हुई है.