नई दिल्लीः रॉ फूड खाना इन दिनों सबसे लोकप्रिय बनता जा रहा है. लोग या तो अपना वजन कम करने के लिए सिर्फ फिट रहने की कोशिश में रॉ फूड खाते हैं. रॉ फूड पोषक तत्वों से भरपूर, कैलोरी में कम और फाइबर में उच्च होता है. ऐसा माना जाता है कि किसी भी भोजन को गर्म करने से उनके पोषक तत्व और प्राकृतिक एंजाइम नष्ट हो जाते हैं, जो पाचन तंत्र के लिए बुरे हो सकते हैं और यहां तक कि पुरानी बीमारी भी पैदा कर सकते हैं. अक्सर डॉक्टर्स और विशेषज्ञ आमतौर पर रॉ फूड खाने की सलाह देते हैं. लेकिन आयुर्वेद इससे एकदम उलट ही कहता है. आयुर्वेद के मुताबिक, कच्चे फल और सब्जियां खाने से बचना चाहिए. जानिए क्या है इसके पीछे का कारण.


क्या कहता है आयुर्वेद -
आयुर्वेद के अनुसार, सभी खाद्य पदार्थों का कच्चा सेवन करना अच्छा नहीं है. आपको केवल कच्चे फल, नट्स और सलाद खाने चाहिए, लेकिन इसके अलावा, अन्य सभी खाद्य पदार्थों को पकाना आवश्यक है. प्राचीन भारतीय चिकित्सा प्रणाली का मानना है कि खाना पकाने से हमें दो तरह से मदद मिलती है:




  • सबसे पहले, गर्म भोजन आपकी आंत में रक्त के प्रवाह को बढ़ाता है और पाचन प्रक्रिया में सुधार करता है.

  • साथ ही, पका हुआ भोजन आसानी से पच जाता है और पोषक तत्व शरीर द्वारा ठीक से अवशोषित हो जाते हैं.


विज्ञान में भी हुआ खुलासा-
केवल आयुर्वेद ही नहीं, विज्ञान भी इन दावों का समर्थन करता है. कुछ शोध हैं जो स्पष्ट रूप से बताते हैं कि पका हुआ भोजन कच्चे भोजन की तुलना में अधिक फायदेमंद क्यों है. एक अध्ययन के अनुसार, पानी में पकाए गए भोजन में एंटीऑक्सीडेंट की मात्रा अधिक होती है. इसके अलावा, कच्ची सब्जियां पचाने में मुश्किल हो सकती हैं और यहां तक कि इर्रिटेबल बाउल सिंड्रोम हो सकता है.


ऐसा नहीं है कि आपको कच्चा खाना या सलाद पूरी तरह से छोड़ देना चाहिए. लेकिन आपको बस थोड़ा सावधान रहना चाहिए. सर्दियों के दौरान गर्म और पका फूड खाना ज्यादा फायदेमंद है. ऐसा इसलिए है क्योंकि सर्दियों की तुलना में गर्मियों में हमारा पाचन तंत्र मजबूत होता है. इसके अलावा, मानसून में कच्चे भोजन का सेवन न करें क्योंकि उस दौरान बैक्टीरिया और वायरल संक्रमण अपने चरम पर होते हैं. सब्जियों को धोने और पकाने से बैक्टीरिया मर जाएंगे और आप कई स्वास्थ्य समस्याओं से बच सकते हैं.


ये खबर रिसर्च के दावे पर हैं. ABP न्यूज़ इसकी पुष्टि नहीं करता. आप किसी भी सुझाव पर अमल या इलाज शुरू करने से पहले अपने एक्सपर्ट की सलाह जरूर ले लें.