क्या आपको या आपके किसी जानने वाले को दाढ़ी से डर लगता है? अगर हां, तो यह पोगोनोफोबिया हो सकता है. पोगोनोफोबिया दाढ़ी से डरने की एक खास प्रकार की फोबिया होती है. इसमें व्यक्ति को दाढ़ी वाले लोगों से घबराहट और बेचैनी महसूस होती है. आज हम जानेंगे पोगोनोफोबिया के लक्षण और इससे कैसे निपटा जा सकता है. 


पोगोनोफोबिया के लक्षण



  • दाढ़ी देखकर घबराहट: पोगोनोफोबिया से पीड़ित व्यक्ति को दाढ़ी देखते ही घबराहट महसूस होती है. उसका दिल तेजी से धड़कने लगता है और सांस लेने में कठिनाई हो सकती है.

  • दाढ़ी वाले लोगों से दूरी बनाना: इस फोबिया से ग्रस्त व्यक्ति दाढ़ी वाले लोगों से दूर रहने की कोशिश करता है. वह उनसे मिलने-जुलने में असहज महसूस करता है.

  • पसीना आना: दाढ़ी के संपर्क में आने पर पसीना आना, कंपकंपी होना या बेहोशी जैसा महसूस होना भी इसके लक्षण हो सकते हैं.

  • बचाव की कोशिश: पोगोनोफोबिया से पीड़ित लोग अक्सर दाढ़ी वाले स्थानों या लोगों से बचने का प्रयास करते हैं, चाहे वह काम की जगह हो या कोई सामाजिक कार्यक्रम. 


पोगोनोफोबिया से निपटने के तरीके


थेरेपी
अगर आपको दाढ़ी से डर लगता है, तो किसी विशेषज्ञ से काउंसलिंग या थेरेपी लेना फायदेमंद हो सकता है. थेरेपिस्ट आपके डर के पीछे के कारणों को समझने में मदद करते हैं और इससे निपटने के उपाय बताते हैं. थेरेपी से आप धीरे-धीरे अपने डर पर काबू पाना सीख सकते हैं और पोगोनोफोबिया से निपटने में सफल हो सकते हैं. 


रिलैक्सेशन तकनीकें
ध्यान, योग और सांस की एक्सरसाइज करने से घबराहट और तनाव को कम किया जा सकता है. ये तकनीकें आपके मन को शांत रखने में मदद करती हैं. जब आप रोजाना ध्यान, योग और सही तरीके से सांस लेने का अभ्यास करते हैं, तो आपका तनाव कम होता है और आप अधिक आरामदायक महसूस करते हैं. इससे पोगोनोफोबिया से निपटने में भी मदद मिलती है. 


समय के साथ सामना करना 
धीरे-धीरे अपने डर का सामना करने से पोगोनोफोबिया से निपटने में मदद मिलती है. शुरुआत में दाढ़ी वाले लोगों से थोड़ी देर मिलें और धीरे-धीरे इस समय को बढ़ाएं. यह प्रक्रिया आपके डर को कम करने में सहायक हो सकती है और आपको दाढ़ी वाले लोगों के साथ सहज महसूस करने में मदद करती है. रोजाना अभ्यास से आप अपने डर पर काबू पा सकते हैं. 


किसी से मदद लें 
अपने परिवार और दोस्तों से बात करें. उनकी सहायता और समर्थन से इस फोबिया से निपटना आसान हो सकता है. जब आप अपने डर और चिंताओं को अपने करीबियों के साथ साझा करते हैं, तो वे आपको समझने और मदद करने की कोशिश करते हैं. उनके साथ होने से आपका आत्मविश्वास बढ़ता है और पोगोनोफोबिया से उबरने में भी मदद मिलती है. 


Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.


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