क्या सच में टाइप 2 डायबिटीज को इंटरमिटेंट फास्टिंग से रिवर्स किया जा सकता है, जानिए क्या कहती है स्टडी
एक स्ट्डी में खुलासा हुआ है कि इंटरमिटेंट फास्टिंग वजन घटाने का असरदार तरीका तो है ही इससे डायबिटीज टाइप 2 को रिवर्स किया जाता सकता है..
Type 2 Diabetes: पिछले कुछ सालों से वजन घटाने के लिए इंटरमिटेंट फास्टिंग का सहारा लिया जा रहा है, ये इतना ज्यादा पॉपुलर है कि साल 2022 में यह वेट घटाने के लिए ट्रेंडिंग में बना रहा. फिल्मी सितारे से लेकर आम इंसान सब इंटरमिटेंट फास्टिंग की तरफ रुख कर रहे हैं.
क्या है इंटरमिटेंट फास्टिंग
दरअसल यह एक ईटिंग प्लान है जिसमें व्यक्ति पूरे दिन में एक समय पर खाना खाता है और बाकी घंटों में फास्टिंग की जाती है. इंटरमिटेंट फास्टिंग में खाने का एक पैटर्न बनाया जाता है जिसमें सबसे ज्यादा मशहूर है 16 : 8. इस पेटर्न के मुताबिक केवल 8 घंटों के दौरान खाना और अन्य पोषक पदार्थ व्यक्ति ले सकता है, जबकि 16 घंटों में सिर्फ पानी पीकर फास्टिंग करनी होती है. इसके अलावा कई बार लोग अल्टरनेट डे पर फास्टिंग करके वजन घटाने की कोशिश करते हैं. यह बहुत ही असरदार तरीका है वजन घटाने का. वहीं अब एक स्ट्डी में खुलासा हुआ है कि इंटरमिटेंट फास्टिंग से डायबिटीज टाइप 2 को रिवर्स किया जाता सकता है.
रिपोर्ट के मुताबिक चीन में की गई एक स्टडी में पाया गया है कि इंटरमिटेंट फास्टिंग से टाइप टू डायबिटीज को रिवर्स करने में मदद मिल सकती है. 47.20 फ़ीसदी लोगों की टाइप टू डायबिटीज की समस्या 3 महीने तक इंटरमिटेंट फास्टिंग करने से पूरी तरह से रिवर्स हो गई. स्टडी के रिजल्ट काफी हैरान करने वाले हैं, यह स्टडी द जर्नल ऑफ क्लीनिकल एंडोक्राइनोलॉजी एंड मेटाबॉलिज्म में पब्लिश हुई है. यह कोई पहली दफा नहीं है इससे पहले भी ये बात सामने आई है कि इंटरमिटेंट फास्टिंग से शरीर से इन्सुलिन रेजिस्टेंस कम हो जाता है और वजन घटने में भी काफी मदद मिलती है.
ऐसे की गई स्टडी
स्टडी में 38 साल से 72 साल की उम्र के लोगों को शामिल किया गया था. यह सभी लोग पिछले 1 से 11 साल से टाइप टू डायबिटीज की समस्या से जूझ रहे थे.इन सभी का बॉडी मास इंडेक्स के 19 . 1 से 30 . 4 था. बता दें कि 18.5-24.9 का बीएमआई स्कोर "स्वस्थ" माना जाता है, जबकि 25 और 30 के बीच बीएमआई अधिक वजन वाला होता है, और 30 और उससे अधिक मोटापे से ग्रस्त होता है.इस स्टडी में शामिल लोगों को 2 ग्रुप में बांट दिया गया था. एक ग्रुप को इंटरमिटेंट फास्टिंग वाली डाइट पर रखा गया और दूसरे ग्रुप को खाने-पीने की पूरी छूट दी गई इनमें से एक ग्रुप को करीब 3 महीने तक के दिन में सिर्फ 840 गैलरी वाली डाइट दी गई 3 महीने बाद जब शोधकर्ताओं ने स्टडी का रिजल्ट देखा तो पता चला कि जिन लोगों ने 3 महीने तक इंटरमिटेंट फास्टिंग का पालन किया है, उनमें से करीब 50 फ़ीसदी लोगों को डायबिटीज कंट्रोल करने के लिए दवाइयों की जरूरत नहीं पड़ी और उन लोगों का वजन करीब 5. 93 किलोग्राम कम किया.
12 महीने के फॉलोअप के बाद यह पता चलता है कि इंटरमिटेंट फास्टिंग करने वाले समूह में 36 में से 16 लोगों ने डायबिटीज को कंट्रोल में रखा, जबकि दूसरे ग्रुप वालों का डायबिटीज़ बिल्कुल भी कंट्रोल में नहीं था
क्या कहते हैं शोधकर्ता?
वहीं शोधकर्ताओं का कहना है कि पिछले कुछ सालों में यह देखा गया है कि जो लोग खाने पीने का ध्यान रखा कर इंटरमिटेंट फास्टिंग करते हैं उनका वजन तेजी से कम हुआ. उनमें से करीब 45 फीसदी लोग टाइप टू डायबिटीज को शुरुआती स्टेज में ही रिवर्स कर सकते हैं.वजन कम होने से पेनक्रियाज में इंसुलिन का प्रोडक्शन बढ़ जाता है और ब्लड शुगर को कम करने में मदद मिलती है. इससे लीवर और मसल्स को ब्लड शुगर को रेगुलेट करने में आसानी होती है. कुल मिलाकर कहा जाए तो खाने-पीने का ध्यान रखकर टाइप टू डायबिटीज को कंट्रोल किया जा सकता है और कुछ मामले में इसे रिवर्स भी किया जा सकता है.
ये भी पढ़ें: Ginger Barfi Recipe: अदरक की बर्फी सर्दियों में करती है इम्युनिटी बूस्टर का काम, ये रहा बनाने का आसान तरीका
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों व दावों को केवल सुझाव के रूप में लें, एबीपी न्यूज़ इनकी पुष्टि नहीं करता है. इस तरह के किसी भी उपचार/दवा/डाइट और सुझाव पर अमल करने से पहले डॉक्टर या संबंधित एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें.
Check out below Health Tools-
Calculate Your Body Mass Index ( BMI )