Coronavirus: कोरोना दिमाग पर भी कर रहा है अटैक, गंभीर मानसिक बीमारियों के अलावा जान जाने का भी है खतरा
कोरोना वायरस लोगों के दिमाग पर भी असर कर रहा है. इस महामारी में जान गंवाने वाले मरीजों के पोस्टमार्टम में ये पाया गया है कि कोरोना संक्रमण से तंत्रिका तंत्र बहुत क्षतिग्रस्त हुआ है. कोरोना से रिकवर होने के बाद लोगों को कई तरह की दिमागी बीमारियां भी हो रही हैं. इससे उनकी याददाश्त और सोचने-समझने की क्षमता पर सबसे ज्यादा असर पड़ रहा है.
कोरोना संक्रमण का असर लोगों के दिमाग पर काफी हो रहा है. इस महामारी को झेलने के 2 माहीने बाद तक करीब 77 प्रतिशत से ज्यादा लोगों को मानसिक समस्याएं हो रही हैं. इनमें 50 साल से कम उम्र के युवाओं की संख्या सबसे ज्यादा है. यूरोपियन एकेडमी ऑफ न्यूरोलॉजी के एक नए रिसर्च में इसका दावा किया गया है कि कोरोना लोगों को मानसिक रुप से भी बीमार कर रहा है. संक्रमित व्यक्ति में से हर 4 में से 3 लोगों की दिमागी क्षमता काफी प्रभावित हुई है. रिसर्च में ये भी कहा गया है कि मानसिक और व्यवहारगत समस्याओं का कोरोना संक्रमण से सीधा संबंध है, लोगों को कोरोना से उबरने के बाद ऐसी समस्याएं हो रही हैं जो कई महीनों तक रह रही हैं.
रिसर्च में पाया गया कि कोरोना से ठीक होने के 5 से 10 महीने बाद भी 53 में से 77.4 प्रतिशत लोगों को कम से कम एक तरह की मानसिक समस्या हो रही है. जबकि 46.3 प्रतिशत लोगों में 3 तरह की मानसिक बीमारी के लक्षण दिखे हैं. शोध के अनुसार ठीक होने के बाद 90 फीसदी लोगों में पोस्ट कोविड लक्षण नज़र आ रहे हैं. जिसमें ज्यादातर लक्षण दिमाग से संबंधित रहे हैं.
सोचने-समझने की शक्ति प्रभावित- रिपोर्ट में कहा गया है कि कोरोना के बाद लोगों का एक्जीक्यूटिक फंक्शन यानि सोचने-समझने और याददाश्त की क्षमता बहुत ज्यादा प्रभावित हुई है. जिसकी वजह से लोगों को ध्यान केंद्रित करने, योजना बनाने, लचीले ढंग से सोचने और चीजों को याद रखने में परेशानी हो रही है. कोरोना से प्रभावित 16 प्रतिशत लोगों में सोचने-समझने की समस्या नज़र आई वहीं 6 प्रतिशत लोगों को याददाश्त से जुड़ी गंभीर समस्या हो रही हैं.
दूरी और रंग बोध में परेशानी- कोरोना से उबरने के बाद लोगों में दूरी, गहराई और रंगों को समझने की क्षमता कम नज़र आई. रिकवर होने वाले हर 5 में से 1 व्यक्ति पोस्ट-ट्रौमेटक तनाव बीमारी और 16 फीसदी लोगों में डिप्रेशन की समस्या देखने को मिली. लोगों में 2 महीने तक ये समस्या रही है. एमआरआई स्कैन में पता चला है कि 50 प्रतिशत लोग संज्ञानात्मक समस्या, 6 प्रतिशत दूरी, गहराई और रंग पहतानने की समस्या से जूझ रहे हैं. वहीं 25 फीसदी लोगों में ये सभी लक्षण दिख रहे हैं.
मनोविकार सबसे आम लक्षण- कोरोना से ठीक होने के बाद लोगों में कई तरह के मनोविकार सामने आ रहे हैं जिनमें लोगों को नींद नहीं आने की समस्या सबसे आम है. इसके अलावा चलने-फिरने की दिक्कत, स्वाद-गंध की क्षमता और सिर दर्द की समस्या ज्यादा हो रही है.
वायरस सांस भी रोक रहा है- इस रिसर्च में एक नया खुलासा हुआ है कि कोरोना वायरस दिमाग पर भी अटैक कर रहा है जिससे सांस लेने का तंत्र प्रभावित हो रहा है और लोगों की मौत हो जाती है. कोरोना वायरस ब्रेन की स्टेम खासकर मेडुलर स्तर तक पहुंचकर दिमागी क्षमता इफेक्ट कर रहा है.
ये भी पढ़ें: बारिश में वजन घटाने के लिए कैसा होना चाहिए डाइट प्लान, ब्रेकफास्ट, लंच और डिनर को बनाएं हेल्दी
Check out below Health Tools-
Calculate Your Body Mass Index ( BMI )