Delhi-NCR AQI: दिल्ली-एनसीआर में हवा एकदम जहरीली हो गई है. दिल्ली और उसके आसपास के एरिया के कुछ जगहों पर हवा इतनी ज्यादा खराब हो गई है कि एयर क्वालिटी इंडेक्स इन दिनों 600 के पार चल रहा है. आसमान पूरी तरह गैंस चैंबर सा बन गया है. यह जहरीली हवा सबसे ज्यादा फेफड़ों पर असर डालती है. दिल्ली और उससे सटे कुछ जगहों पर AQI 700 के पास पहुंच गया था. आसमान गैस चैंबर की तरह नजर आ रहा है. इस एयर पॉल्यूशन में खासकर ब्रोंकाइटिस और अस्थमा (bronchitis and asthma) जैसी गंभीर बीमारी ट्रिगर कर सकती है. अगर यह बीमारी किसी को पहले से है तो इस पॉल्यूशन में वह अपना गंभीर रूप ले सकती है.
अस्थमा और ब्रोंकाइटिस के मरीज
अस्थमा बचपन से भी हो सकती है और कुछ लोगों को यह खराब पर्यावरण के कारण भी हो सकता है. जहरीली हवा और प्रदूषण के कारण भी यह बीमारी हो सकती है. ब्रोंकाइटिस वायरल या बैक्टीरियल इंफेक्शन के कारण भी यह बीमारी हो सकती है. यह एक समय तक ज्यादा रहती है. लेकिन क्रोनिक ब्रोंकाइटिस फेफड़ों और सांस लेने वाली नली में गड़बड़ी के कारण होती है. जिसके कारण जलन पैदा होती है. ब्रॉनकायल टयूब्सके के जरिए हवा फेफड़ों के अन्दर और बाहर जाती है और अस्थमा में सांस की नली में सूजन आ जाती है. जिसके कारण सांस लेने में दिक्कत होती है.
खराब AQI कैसे बढ़ता है इसका खतरा
जहरीली हवा फेफड़ों में कई तरह से इंफेक्शन पैदा करती है. जिसकी वजह से ब्रोंकाइटिस बीमारी का खतरा बढ़ जाता है. जिन लोगों को अस्थमा की बीमारी पहले से होती है उन्हें पॉल्यूशन के दौरान यह बीमारी दोबारा से ट्रिगर हो सकती है. हवा में ऑक्सीजन की कमी से सांस लेने में दिक्कत हो सकती है.
गंदी और जहरीली हवा में निकलने से पहले मास्क लगा लें. ज्यादा दिक्कत न हो इसलिए डबल मास्क का इस्तेमाल करें. कुछ चीजों का खास ध्यान रखें. खानपान और दवाइयों का खास ध्यान रखें. तबियत ज्यादा बिगड़ने लगे तो तुरंत डॉक्टर को दिखाएं.
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों और सुझाव पर अमल करने से पहले डॉक्टर या संबंधित एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें.
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