Chicken During Pregnancy: प्रेग्नेंसी एक बहुत ही खूबसूरत एहसास है, जिसका अनुभव करने वाली महिलाओं को तरह-तरह की सावधानियां बरतनी पड़ती हैं. उन्हें न सिर्फ अपनी सेहत का बल्कि अपने होने वाले बच्चे की सेहत का भी खास ख्याल रखना होता है. प्रेग्नेंसी चूंकी एक नाजुक समय होता है, इसलिए हर महिला को अपने खानपान पर विशेष ध्यान देने की जरूरत होती है. क्योंकि एक छोटी सी गलती भी प्रेग्नेंसी पीरियड और डिलीवरी को मुश्किल बना सकती है. कई महिलाएं प्रग्नेंसी के दौरान चिकन खाना काफी पसंद करती हैं. आइए जानते हैं कि प्रेग्नेंट महिलाओं के लिए चिकन का सेवन कितना फायदेमंद होता है और इसे खाते वक्त क्या-क्या सावधानियां बरती जानी चाहिए.
प्रेग्नेंसी के दौरान चिकन खाने के फायदे
1. प्रोटीन: चिकन प्रोटीन का एक बेहतरीन सोर्स माना जाता है. प्रोटीन बच्चे की ग्रोथ और डेवलपमेंट के लिए जरूरी है. चिकन में मौजूद प्रोटीन बच्चे की सेल्स और टीशूज़ के निर्माण में मदद करता है.
2. आयरन: चिकन आयरन से भी भरपूर होता है, जो हीमोग्लोबिन के स्तर को बढ़ाने में मददगार है. हीमोग्लोबिन शरीर में कोशिकाओं यानी सेल्स तक ऑक्सीजन ले जाने का काम करता है. आयरन के सेवन से एनीमिया को रोकने में मदद मिल सकती है, जो प्रेग्नेंसी के दौरान देखी जाने वाली एक कॉमन हेल्थ प्रॉब्लम है.
3. विटामिन और मिनरल्स: चिकन जरूरी विटामिन और मिनरल्स का खजाना होता है. इसमें विटामिन B12, विटामिन A और जिंक आदि जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो बच्चे के अंगों और इम्यून सिस्टम के विकास के लिए जरूरी हैं.
4. लो-फैट: चिकन में फैट की मात्रा कम होती है. यही वजह है कि ये प्रेग्नेंट महिलाओं के लिए फायदेमंद माना जाता है. क्योंकि इसके सेवन से वजन बढ़ने की टेंशन नहीं रहती.
किन बातों का रखना है ख्याल?
1. अच्छे से पकाएं: चिकन को खाने से पहले हमेशा यह सुनिश्चित करना जरूरी है कि ये अच्छी तरह से पका हो. क्योंकि इनसे साल्मोनेला जैसी खाद्य जनित बीमारियों के होने का खतरा रहता है. प्रेग्नेंट महिलाओं को अधपका या कच्चा चिकन खाने को नहीं दिया जाना चाहिए. क्योंकि ये मां और बच्चे दोनों के लिए नुकसानदेह साबित हो सकता है.
2. हार्मोन: कुछ व्यावसायिक रूप से पैदा की जाने वाली मुर्गियों को हार्मोन दिए जाते हैं, ताकि उनका विकास तेजी से हो सके. इस बात का कोई सबूत नहीं होता कि ये हार्मोन प्रेग्नेंट महिलाओं के लिए नुकसानरहित हैं या नहीं. किसी भी खतरे से बचने के लिए ऑर्गेनिक या फ्री-रेंज चिकन का ऑप्शन चुनना बेहतर होता है.
3. सोडियम कंटेंट: कुछ चिकन प्रोडक्ट्स जैसे सॉसेज या प्रोसेस्ड मीट में सोडियम की मात्रा ज्यादा हो सकती है. जबकि प्रेग्नेंट महिलाओं को ज्यादा सोडियम के सेवन से बचने की सलाह दी जाती है.
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