Hand Foot Mouth Disease: नोएडा में बच्चों में बढ़े हैंड फुट एंड माउथ यानि HFMD के मामले, ये हैं लक्षण
Hand, Foot, Mouth Disease In Noida Schools: दिल्ली एनसीआर में हैंड, फुट और माउथ डिजीज तेजी से फैल रही है. 5 साल तक के बच्चे इसके शिकार हो रहे हैं. अभिभावक स्कूल जाने वाले बच्चों का ख्याल रखें.
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HFMD In Schools: दिल्ली एनसीआर में पिछले कुछ दिनों से बच्चों में हाथ पैर और मुंह की बीमारी तेजी से फैल रही है. नोएडा और ग्रेटर नोएडा के कई स्कूलों में भी एचएफएमडी (HFMD) से जुड़े कई मामले सामने आ रहे हैं, जिसकी वजह से गौतमबुद्ध नगर में कई प्ले स्कूलों में एहतियात बरते जा रहे हैं. नोएडा के कई नर्सरी और प्ले स्कूल में कुछ दिन के लिए क्लासेस बंद कर दी गई हैं. हेल्थ डिपार्टमेंट की ओर से स्कूलों में कहा गया है कि अगर किसी भी बच्चे में ऐसे लक्षण दिखें तो उसे स्कूल आने की अनुमति न दें. वहीं अभिभावकों को भी इसके बारे में सूचना भेजें.
आपको बता दें हैंड फुट माउथ डिजीज काफी खतरनाक बीमारी है. 2 से 5 साल के बच्चे इससे काफी तेजी से संक्रमित हो रहे हैं. जिन बच्चों की इम्यूनिटी कमजोर है उनपर इसका सबसे ज्यादा असर हो रहा है. इस बीमारी को ठीक होने में करीब 7-10 दिन का समय लगता है. जब तक दाने पूरी तरह से सूख न जाएं बच्चे को स्कूल या पार्क भेजने से बचें. इससे दूसरे बच्चों में भी संक्रमण फैलने का खतरा रहता है.
क्या है हैंड, फुट एंड माउथ डिजीज के लक्षण
इसे हाथ-पैर-मुंह की बीमारी कहा जाता है. ये 5 साल तक के बच्चों में होने वाला वायरल संक्रमण है. इसमें बच्चे के मुंह में छाले होने लगते हैं. खाने-पीने में बच्चे को परेशानी होती है. इसके अलावा हाथ और पैरों पर दाने निकल आते हैं. ये बीमारी आमतौर पर कॉक्ससैकी वायरस की वजह से होती है. इसमें बच्चे को हल्का बुखार भी आता है.
कैसे करें बच्चे का बचाव
- संक्रमित बच्चे से दूसरे बच्चों को दूर रखें.
- ये खांसने, छींकने और लार से फैलने वाली बीमारी है.
- संक्रमित बच्चे के साथ खाना या पानी शेयर न करें.
- नाक या फेफड़ों से निकलने वाली बलगम से बच्चे को दूर रखें.
- बच्चों की इम्यूनिटी बढ़ाने पर जोर दें.
- बच्चे के हाथ बार-बार साबुन से वॉश कराएं.
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों व दावों की एबीपी न्यूज़ पुष्टि नहीं करता है. इनको केवल सुझाव के रूप में लें. इस तरह के किसी भी उपचार/दवा/डाइट पर अमल करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
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