Stretching Benefits: फिटनेस और हेल्दी लाइफ के लिए जरूरी है स्ट्रेचिंग करना, जानें फायदे
Stretching Importance: स्वस्थ शरीर के लिए मसल्स (Muscles) और नर्व्स (Nerves) का हेल्दी होना बहुत जरूरी है. इस काम में स्ट्रेचिंग हमारी बहुत मदद करती है. स्ट्रेचिंग कैसे शरीर पर काम करती है, यहां जानें
Health Benefits Of Stretching: एक्सर्साइज करना जितना जरूरी है, स्ट्रेचिंग करना भी उतना ही जरूरी है. क्योंकि स्ट्रेचिंग ब्लड सर्कुलेशन (Blood Circulation) बढ़ाने, सुबह के समय मोशन (Motion) को आसान बनाने, नसों में खिंचाव की समस्या को कम करने और चोट लगने की संभावना को कम करने का काम करती है. कुछ लोग स्ट्रेचिंग (Stretching) और एक्सर्साइज (Exercise) में कंफ्यूज भी हो जाते हैं या उन्हें अंतर समझ नहीं आता है. यहां आपको यह अंतर, स्ट्रेचिंग से होने वाले लाभ और ऐसा करना क्यों जरूरी है, जैसी सभी जरूरी बातें बताई गई हैं.
एक्सर्साइज और स्ट्रेचिंग में अंतर
- एक्सर्साइज के लिए आपको प्रॉपर टाइम की जरूरत होती है, जिसे आप एक निश्चित समय पर करते हैं, जैसे खाना खाने के एक तय समय बाद या सोने जाने से कुछ घंटे पहले. जबकि स्ट्रेचिंग कभी भी की जा सकती है. ऑफिस में काम करते हुए बीच में उठकर जब आप अपने हाथ और कंधों को मूव करते हैं, वो भी स्ट्रेचिंग ही है, जबकि आप ऐसे एक्सर्साइज नहीं कर सकते.
- एक्सर्साइज हमेशा कॉन्शियली की जाती है जबकि स्ट्रेचिंग आप बिना किसी प्लानिंग के भी करते हैं. जैसे, नींद से जागने से पहले हाथ पैर की नसों को खींचना, देसी भाषा में कहें तो शरीर को जगाने के लिए और ऐक्टिव मोड में लाने के लिए अंगड़ाई लेना.
स्ट्रेचिंग के फायदे क्या हैं?
- स्ट्रेचिंग करने से शारीरिक गतिविधियों में आपकी कार्यक्षमता बढ़ती है. यानी आप जो भी काम करते हैं, उसे कहीं अधिक ऊर्जा और स्पीड के साथ कर पाते हैं.
- स्ट्रेचिंग से मांसपेशियों और कोशिकाओं में लचक (flexibility) बढ़ती है. इसलिए जल्दी से खिंचाव आने, मोच आने या चोट लगने की समस्या नहीं होती है.
- जॉइंट्स की जकड़न से बचाव होता है. बढ़ती उम्र के साथ जोड़ों में होने वाली समस्या से स्ट्रेचिंग काफी हद तक बचाकर रखती है.
- दैनिक जीवन में किए जाने वाले कामों को आप अधिक दक्षता (Efficiency) के साथ कर पाते हैं.
- जो लोग नियमित रूप से स्ट्रेचिंग करते हैं, उन्हें बुढ़ापे में चीजों को होल्ड करने की दिक्कत या हाथ-पैर कांपने की दिक्कत बहुत कम होती है.
स्ट्रेचिंग से जुड़ी जरूरी बातें
स्ट्रेचिंग को वॉर्मअप की तरह ना लें क्योंकि जब आप डेली बेसिस पर स्ट्रेचिंग करते हैं तो आपको वॉर्मअप के बाद इसे करना होता है. नहीं तो कोल्ड और शांत मसल्स को अचानक से स्ट्रेच करने पर दर्द, दुखन या खिंचाव की समस्या हो सकती है.
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों व दावों को केवल सुझाव के रूप में लें, एबीपी न्यूज़ इनकी पुष्टि नहीं करता है. इस तरह के किसी भी उपचार/दवा/डाइट पर अमल करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
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