Health Tips: जब भी बात भारतीय खानपान और विदेश खानपान की होती है तो भारतीय खानपान को पश्चिमी खानपान की अपेक्षा ज़्यादा हेल्दी और बैलेंस माना जाता है क्योंकि भारतीय खाने में दाल, सब्ज़ी, अनाज, नट्स, गुड़, मेवा अचार आदि का ही इस्तेमाल किया जाता है. लेकिन जब बात भारत के जाने माने और बेहद पसंद किये जाने वाले नाश्ते की आती है तो, क्या तब भी भारतीय नाश्ता उतना ही सेहतमंद है जितना उसका नॉर्मल खाया जाने वाला पोषित खाना. आमतौर पर जब भी सबसे अनहेल्दी चीजों की बात आती है, तो सबकी जुबां पर पिज़्ज़ा, बर्गर, कोल्ड ड्रिंक, चाउमीन, नूडल्स आदि का ही नाम आता है. मगर आपकी जानकारी के लिए बता दें कि, कुछ ऐसे इंडियन स्नैक्स भी हैं जो आपके शरीर को इन जंक फूड्स से भी कही ज़्यादा नुकसान पहुंचा सकते हैं. ऐसे में हमारी ज़िम्मेदारी बनती है कि हम आज आपतक आपकी सेहत से जुड़ी ये खबर पहुंचाएं और कितने खतनाक साबित हो सकते हैं कुछ भारतीय नाश्ते इस बात की जानकारी भी दें.


टिक्की
टिक्की चाट और गोलगप्पों की दुकानों में बिकने वाला बेहद पॉपुलर स्ट्रीट फूड है. इसे उबले हुए आलू को तेल में डीप फ्राई करने के बाद बनाया जाता है. टिक्की का सेवन आपके लिए खतरनाक हो सकता है क्योंकि इसमें कार्बोहाइड्रेट, स्टार्च, फैट और कोलेस्ट्रॉल बहुत ज़्यादा मात्रा में होता है जो आपके शरीर के साथ साथ दिल की देहात के लिए भी ठीक नहीं. कुल मिलाकर किसी भी खाद्य पदार्थ को बनाने में अगर बहुत ज्यादा तेल, मिर्च और नमक का प्रयोग किया जाएगा, तो वो सेहत के लिए नुकसानदायक ही होगा.


समोसा, पूरी, कचौरी
समोसा के बिना इंडियन स्नैक्स को अधूरा माना जाता है. समोसा भारत में ईरान से आया है लेकिन भारत के लगभग सभी हिस्सों में पॉपुलर स्नैक है. समोसा भी डीप फ्राई करके बनाया जाने वाला स्नैक है, जिसकी ऊपरी पर्त मैदे से और अंदर की स्टफिंग मसालेदार आलू से की जाती है. आलू और मैदा दोनों ही सेहत के लिए नुकसानदायक माने जाते हैं. समोसे में बहुत ज़्यादा फैट होता है और ये कोलेस्ट्रॉल को बढ़ा सकता है. इसी तरह पूरी (पूड़ी) और कचौरी (कचौड़ी) का भी ज़्याद सेवन करना सेहत के लिहाज़ से अच्छा नहीं है. इसलिए इसके सेवन से भी आपको मोटापा, कोलेस्ट्रॉल, स्ट्रोक, कैंसर, हार्ट अटैक जैसी समस्याएं हो सकती हैं.


पानी-पूरी (गोलगप्पे)
गोलगप्पे या पानी-पूरी शायद भारत के सबसे पॉपुलर स्ट्रीट फूड्स में से एक है. ये गोलगप्पे आपको हर इलाके में मिल जाएंगे. उत्तर भारत में हर गली के नुक्कड़, चौराहे, मार्केट में आपको गोलगप्पे की रेहड़ी, खोमचा या ठेला आसानी से मिल जाएगा. गोलगप्पे खाने में स्वादिष्ट लगते हैं क्योंकि इनमें आलू, मटर और खट्टा-मसालेदार पानी डाला जाता है लेकिन गोलगप्पों का सेवन सेहत के लिए हानिकारक भी होता है. गोलगप्पों का लंबे समय तक सेवन करना सेहत के लिहाज़ से अच्छा नहीं है क्योंकि ये भी डीप फ्राई किए जाते हैं. इसके अलावा, कई बार मार्केट में मिलने वाले गोलगप्पों के पानी में भी एसिड मिलाकर बनाया जाता है.


पकौड़ा, पकौड़ी, भजिया
पकौड़ा, पकौड़ी, भजिया और इन्हीं जैसे दूसरे स्नैक्स जो आमतौर पर बेसन में सब्जियों को मिक्स करके बनाए जाते हैं, भारतीयों को काफी पसंद आते हैं. खासकर उत्तरभारत में चाय के साथ पकौड़े, पकौड़ियां आदि खाने का खूब चलन है. ये स्नैक्स आपकी सेहत के लिए बहुत नुकसानदायक हो सकते हैं क्योंकि इन्हें तेल में डीप फ्राई किया जाता है. घर पर आप इन्हें कभी-कभार बनाकर खा सकते हैं लेकिन इन्हें बहुत ज़्यादा खाना या बाहर किसी हलवाई की दुकान से खरीदकर खाना बहुत खतरनाक हो सकता है. लंबे समय में ये फूड्स मोटापा, कोलेस्ट्रॉल, हार्ट अटैक, स्ट्रोक, कैंसर जैसी कई बीमारियों का कारण बन सकते हैं.


छोले-भटूरे
छोले भटूरे उत्तर भारत खासकर पंजाब, दिल्ली, यूपी, एमपी में काफी प्रसिद्ध हैं. छोले वाले चने तो प्रोटीन से भरपूर होते हैं, इसलिए सेहत के लिए फायदेमंद होते हैं लेकिन छोले बनाने में बहुत ज़्यादा नमक, मसालों और तेल का इस्तेमाल किया जाता है, इसलिए ज़्यादा मात्रा में इसे खाना सेहत के लिए अच्छा नहीं है. इसके अलावा भटूरों को मैदे से डीप फ्राई करके बनाया जाता है. चूंकि मैदा बहुत चिकना होता है, इसलिए छोले भटूरों को खाना सेहत के लिए बहुत खतरनाक हो सकता है. इसके कारण एसिडिटी, कब्ज़, पेट में भारीपन, मोटापा, कोलेस्ट्रॉल की समस्या, हार्ट की समस्याएं आदि हो सकती हैं.


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