Reason behind loss of smell in covid-19: एक बार फिर से हर तरफ कोरोना की चर्चा जोर-शोर से की जा रही है. चीन में कोरोना का कहर जारी है वहीं भारत में कोरोना को लेकर केंद्र सरकार पूरी तैयारी में है. कोरोना के नए वेरिएंट से डरने की जरूरत नहीं है बल्कि कुछ चीजों को ध्यान में रखने की जरूरत है. जब साल 2020 में कोरोना की शुरुआत हुई थी तब से अब तक हम इसके लक्षणो के बारे में सुन रहे हैं. कोरोना के लक्षणों में सूंघने की शक्ति खत्म  (reason behind loss of smell in covid-19) हो जाना सबसे महत्वपूर्ण हैं, स्वाद खत्म हो जाना.लेकिन कभी आपने सोचा है कि सूंघने की शक्ति आखिर क्यों खत्म हो जाती है. ड्यूक विश्वविद्यालय (Duke University) के रिसर्चर ने हाल ही में खुलासा किया है कि आखिर क्योंकि कोविड में लोगों की सबसे पहले सूंघने की शक्ति खत्म हो जाती है. 


कोरोना में सूंघने की शक्ति खत्म होने का कारण


साइंस ट्रांसलेशनल मेडिसिन मैगजीन में पब्लिश एक रिसर्च साफ लिखा गया है सूंघने की शक्ति खत्म होने के पीछ कारण है हमारा इम्यून सिस्टम. ड्यूक विश्वविद्यालय (Duke University) के रिसर्चर के मुताबिक कोरोना हमारे इम्युनिटी पर हमला करती है और इसका असर सांस लेने की नली पर भी पड़ता है. नेसल पैसज यानी नाक से जुड़ी नर्व्स सेल्स को पूरी तरह से प्रभावित करता है. जब कोरोना होता है तो वह हमारे इम्युनिटी सिस्टम पर लगातार अटैक करता है जिसकी वजह से व्यक्ति की सूंघने की शक्ति खत्म हो जाती है.


नाक से जुड़े सेल्स पर सूजन हो जाती है 


दरअसल होता यह है कि कोरोना होने पर इम्यून सेल्स नाक में सेंसेटिव परत पर सूजन पैदा करती है. जरूरी संवेदी तंत्रिका कोशिकाओं (sensory nerve cells)को एक तरफ से साफ कर रही होती हैं. रिसर्चर ने बायोप्सी करके टी- सेल्स जोकि इम्यून सेल्स होते हैं. SARS-CoV-2 के कारण नाक से जुड़े सेल्स में लगातार सूजन बन जाती है. जिसकी वजह से सूंघने की शक्ति चली जाती है. 


सूंघने की शक्ति खत्म हो गई है: रिसर्च


रिसर्च में साफ कहा गया है कि जो लोग लंबे समय तक कोरोना से पीड़ित रहते हैं . उनमें से कई लोगों की सूंघने की शक्ति वापस आती भी नहीं है और अगर वापिस आती भी है तो वह सुगंध और गंध के बीच अंतर ही नहीं कर पाते हैं.


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