What Is PMS: क्या है प्री मेन्स्ट्रूअल सिंड्रोम जो महिलाओं को बना देता है चिड़चिड़ा
Pre Menstruation Syndrome: पीरियड्स की तरह ही हर महीने महिलाएं पीएमएस से गुजरती हैं. इस दौरान महिलाओं में कई तरह के शारीरिक और व्यवहारिक बदलाव नज़र आते हैं. पीएमएस के लक्षणों को कैसे कम करें.
When Does Pms Start: PMS यानि प्री मेन्स्ट्रूअल सिंड्रोम. महिलाओं को हर महीने पीरियड्स होने से कुछ दिन पहले हार्मोंस में काफी बदलाव आने लगते हैं. इस स्थिति में पीरियड होने एक दो हफ्ते पहले महिलाओं के अंदर कई तरह के शारीरिक, भावनात्मक और व्यवहारिक लक्षणों में बदलाव नज़र आता है. हालांकि ये लक्षण हर महिला में अलग होते हैं. कुछ महिलाओं को ये परेशानी बहुत कम होती है तो वहीं कुछ महिलाएं इस समस्या और इस दौरान होने वाले मूड स्विंग से बहुत परेशान हो जाती हैं. आइये जानते हैं प्री मेन्स्ट्रूअल सिंड्रोम के लक्षण क्या हैं और इसे कैसे कम कर सकते हैं.
क्या है प्री मेन्स्ट्रूअल सिंड्रोम
अक्सर महिलाओं को पीरियड्स होने से 1-2 हफ्ते पहले ये साइकिल आता है. पीरियड्स की तरह ही ये साइकिल भी आम जीवन का हिस्सा है, लेकिन इस दौरान महिलाओं के मूड, स्वभाव और शरीर में कई तरह के उतार-चढ़ाव आते हैं. पीरियड होने तक ऐसा रहता है और पीरियड के साथ ही ये खत्म हो जाता है.
प्री मेन्स्ट्रूअल सिंड्रोम के लक्षण
पीएमएस के दौरान हर महिला में अलग-अलग लक्षण नज़र आते हैं. इस दौरान थकान, कमजोरी, चिड़चिड़ापन, उदासी, पेट फूलना, टेंडर ब्रैस्ट और मूड स्विंग्स होना जैसे आम लक्षण महसूस होते हैं. इस दौरान कई महिलाओं को भूख में कमी, जोड़ों में दर्द और क्रैम्प (दर्द), मुहांसे निकलने जैसी समस्याएं भी होती हैं. कई बार एंग्जायटी और डिप्रेशन भी महसूस होता है.
प्री मेन्स्ट्रूअल सिंड्रोम से कैसे बचें?
1- एक्सरसाइज करें- प्री मेन्स्ट्रूअल सिंड्रोम से बचने के लिए आप हफ्ते में कम से कम 5 दिन आधा घंटे के लिए एक्सरसाइज जरूर करें. आप अपनी पसंद की कोई एक्सरसाइज जैसे कार्डियो, जॉगिंग, दौड़ना, या स्विमिंग और योगा कर सकते हैं.
2- डाइट में बदलाव करें- इस दौरान आपको अपने खान-पान में बदलाव करने चाहिए. दिन में हल्का और थोड़ी-थोड़ी मात्रा में खाना खाएं. नमक का सेवन कम करें. सीजनल फल और हरी पत्तेदार सब्जियां खाएं. खाने में कैल्शियम से भरपूर चीजें और ड्राई फ्रूट्स भी शामिल करें.
3- तनाव कम लें- अपनी लाइफ से तनाव कम करने की कोशिश करें. समय पर सोने की आदत बनाएं और गहरी नींद लें. योग और प्राणायाम से नीद को बेहतर बनाएं.
4- धूम्रपान से बचें- अगर आप स्मोकिंग करती हैं तो इसे कम करें. कई रिसर्च में ये सामने आया है कि जो महिलाएं धूम्रपान नहीं करती हैं उनके मुकाबले धूम्रपान करने वाली महिलाओं को PMS लक्षण के लक्षण ज्यादा प्रभावित करते हैं. अगर आप शराब पीती हैं तो उसे भी कम करें.
5- हेल्थ सप्लीमेंट लें- इस दौरान डाइट में मल्टीविटामिन शामिल करें. आप आयरन, फोलिक एसिड, विटामिन बी-6, विटामिन डी और मैग्नीशियम जैसे सप्लीमेंट ले सकते हैं. इससे आपको दर्द और मूड स्विंग्स में कमी नज़र आएगी.
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों व दावों की एबीपी न्यूज़ पुष्टि नहीं करता है. इनको केवल सुझाव के रूप में लें. इस तरह के किसी भी उपचार/दवा/डाइट पर अमल करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
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