लंदनः वैज्ञानिकों ने एक ऐसा अनोखा स्मार्टफोन आधारित जांच पद्धति विकसित की है जिसमें मरीज के रक्त की केवल एक बूंद के इस्तेमाल से केवल 10 सेकेंड में ही एचआईवी का पता लगाया जा सकता है.


डॉक्टरों और मरीजों की देखरेख करने वाले लोगों को यह तात्कालिक तरीका उपलब्ध कराता है.


क्या कहते हैं एक्सपर्ट-
ब्रिटेन में सर्ररे विश्वविद्यालय के प्रोफेसर विंस एमेरी ने कहा कि हमने मौजूदा स्मार्टफोन तकनीक का इस्तेमाल करके एचआईवी का पता लगाने के लिये 10 सेकेंड का टेस्ट विकसित किया है लेकिन सैद्वांतिक रूप से जीका या इबोला वायरसों की पहचान के लिए भी इनका इस्तेमाल किया जा सकता है.
इसका यानि हम गंभीर बीमारियों की उनके महामारी के रूप में बदलने से पहले ही पहचान कर सकते है.


कैसे काम करेगा ये-
इस मोबाइल टेस्ट में सतह ध्वनिक लहर (एसएडब्ल्यू) बायोचिप्स का उपयोग किया जाता है, जो स्मार्टफोन में पाये जाने वाले माइक्रोइलेक्ट्रोनिक घटकों पर आधारित होता है. एचआईवी का शुरूआत में ही पता चलने से संभावित बीमारी को नियंत्रित करने में महत्वपूर्ण साबित होता है लेकिन मौजूदा टेस्टों में जटिल विश्लेषण उपकरण की जरूरत होती है और परिणाम के लिए लम्बे समय का इंतजार करना पड़ता है.


नोट: ये रिसर्च के दावे पर हैं. ABP न्यूज़ इसकी पुष्टि नहीं करता. आप किसी भी सुझाव पर अमल या इलाज शुरू करने से पहले अपने डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें.