नई दिल्लीः सोशल मीडिया का दावा है कि बढ़ती उम्र के साथ चेहरे पर दिख रही झुर्रियों को छिपाने के लिए श्रीदेवी कैलिफोर्निया जाकर कुछ इस तरह से बोटॉक्स इंजेक्शन लेती थीं. आज हम आपको बता रहे हैं कि क्या है बोटॉक्स ट्रीटमेंट.
बोटॉक्स इंजेक्शन के दौरान लोग चेहरे पर दिखने वाली लाइनें खासकर जो माथे पर और आंखों के नीचे आ जाती है उन्हें छिपाने के लिए लेते हैं. सोशल मीडिया पर ये दावा किया जा रहा है कि श्रीदेवी ने भी ऐसे ही बोटॉक्स इंजेक्शन लिया जिसका उनके शरीर पर बुरा असर पड़ रहा था. लेकिन सवाल ये है कि क्या इस तरह के ट्रीटमेंट किसी की जान पर भारी पड़ सकते हैं? इसका जवाब मिला दे रही हैं डॉक्टर इपस्तिा जौहरी जो बोटॉक्स एकस्पर्ट हैं.
डॉक्टर इपस्तिा के मुताबिक, बोटॉक्स में एक सीरम होता है. ये बैक्टिरिया से मिला एक प्रोटीन है. इसको जब इंजेक्ट करते हैं तो ये मांसपेशियों को रिलेक्स करता है जिससे माथे और आंखों के पास झुर्रियां नहीं पड़ती. बोटॉक्सय ट्रीटमेंट से पहले एनीस्थीसिया नहीं दिया जाता. बोटॉक्स इंजेक्शन का असर एक हफ्ते में आता है. बोटॉक्स का असर तीन-चार महीने तक ही रहता है. इसके बाद वो शरीर से अपने आप चला जाता है. इसके कोई लंबे साइड इफेक्ट नहीं हैं.
ये भी दावा है कि श्रीदेवी ने डर्मा रोलर नाम से अपने चेहरा का ट्रीटमेंट करवाया था. जिसका असर उनके चेहरे पर दिखाई दे रहा है.
डर्मा रोलर में चेहरे पर होता क्या है-
एक रोलर की मदद से चेहरे की ऊपरी परत को निकाला जाता है. झुर्ऱियों और चेहरे को काला पड़ने से रोकने के ये तरीका आजमाया जाता है.
ये एक्सपर्ट के दावे पर हैं. ABP न्यूज़ इसकी पुष्टि नहीं करता. आप किसी भी सुझाव पर अमल या इलाज शुरू करने से पहले अपने एक्सपर्ट की सलाह जरूर ले लें.