नई दिल्लीः बॉलीवुड की बेहतरीन अदाकारा श्रीदेवी इस दुनिया को अलविदा कह चुकी हैं. श्रीदेवी की डेथ सर्टिफिकेट ने सबको चौंका दिया है और साथ ही कई सवाल भी खड़े कर दिए हैं. श्रीदेवी की डेथ सर्टिफिकेट आने से पहले लोगों ने कई तरह के कयास लगाएं. कुछ लोगों का कहना था कि बेटी को लॉन्च करने को लेकर श्रीदेवी काफी तनाव में रहती थीं जबकि कुछ लोग क्रैश डायटिंग, वेट लॉस सर्जरी और एजिंग रोकने को लेकर होने वाले ट्रीटमेंट का इफेक्ट बता रहे थे. कुछ लोगों के मुताबिक, वे भूख कम लगने की मेडिसीन लेती थीं जिसके साइड इफेक्ट्स के कारण उनकी डेथ हुई तो कुछ ने कहा कि कॉस्मेकटिक सर्जरी करवाने से ऐसा हुआ. फिलहाल श्रीदेवी की डेथ सर्टिफिकेट में एक्सीडेंटल डूबने से मौत बताया गया है.


एबीपी न्यूज ने तमाम एक्सपर्ट्स से ये जानने की कोशि‍श की है, क्या सचमुच कॉस्मेटिक ट्रीटमेंट, स्ट्रेस और डायटिंग से हार्ट पर इफेक्ट पड़ सकता है? क्या क्रैश डायटिंग, वेट लॉस सर्जरी या बोटॉक्स ट्रीटमेंट से जान जा सकती है? जानिए, क्या कहते हैं एक्सपर्ट.


सीनियर कार्डियोलॉजिस्टक डॉ. आनंद पांडे का कहना है कि हार्ट अटैक के कई सारे कारण हो सकते हैं. जैसे कुछ प्रॉब्लम्स डायबिटीज, हाइपरटेंशन, स्मोकिंग, एल्कोहल, ओबेसिटी. आजकल युवा लोगों को भी हार्ट अटैक की समस्या उनके खराब लाइफस्टाइल के चलते देखने को मिल रही है. आमतौर पर देखा गया है कि लोग हार्ट अटैक के लक्षणों को गैस्ट्रिक पेन समझकर इग्नोर कर देते हैं. कई लोगों को फैमिली हिस्ट्री के कारण हार्ट अटैक होता है. कार्डिएक अरेस्ट और हार्ट अटैक के लोगों सरवाइव कर सकते हैं अगर समय पर ट्रीटमेंट मिलें. लेकिन जिन लोगों को नींद के दौरान या एल्कोहल पीने के बाद हार्ट अटैक पड़ता है उन्हें बचा पाना मुश्किल होता है.


सीनियर कंसल्टेंट और साइकैट्रिक्स डॉ. अमिताभ साहा के मुताबिक, जब भी व्यक्ति का स्ट्रेस लेवल बहुत बढ़ जाता है तो उसके हार्ट पर बहुत इफेक्ट पड़ता है. ऐसे में कई तरह के कार्डिएक कॉम्प्लिकेशंस आ सकते हैं. स्ट्रे्स के साथ ही यदि आप एल्कोहल और कई तरह की मेडिकेशंस लेते हैं तो ये सिचुएशन को और भी कॉम्प्लिकेटेड बना देते हैं. इसके साथ ही थोड़ा सा फिजिकल एक्जर्शन भी स्थिति को गंभीर बना सकता है. यानि आप बिना आराम किए घंटों काम कर रहे हैं तो भी हेल्थ पर इसका नेगेटिव इफेक्ट पड़ता है.


वीएलसीसी की डायटिशियन डॉ. अर्पणा का कहना है कि भूखे रहना बॉडी के लिए सही नहीं है. अगर आप भूख को खत्म करने के लिए या वजन कम करने के लिए मेडिसिंस या ड्रग्स लेते हैं तो इनका साइड इफेक्ट आपकी बॉडी पर पड़ता है. ये दवाएं आपके हार्ट और किडनी पर प्रभाव डालती हैं. इन्हीं वजहों से इन्हें बैन भी किया गया है. अगर आपको ये सब चीजें लेनी भी हैं तो डॉक्ट‍र की निगरानी में लेनी चाहिए. अगर आप लंबे समय तक भूखे रहते हैं तो आपकी मसल्स वीक होने लगती हैं. इनका इफेक्ट तुरंत नहीं होता बल्कि कुछ वक्त‍ लगता है.


सीनियर बोटॉक्स सर्जन डॉ. शुभ्रतो भट्टाचार्य का कहना है कि अगर मेडिकल प्रोसीजर के अंदर कोई ट्रीटमेंट किया हो तो कोई प्रॉब्‍लम होने की शंका नहीं रहती लेकिन ये प्रोसीजर ट्रेंड या क्वालिफाइड डॉक्टर्स से होने पर ही कारगर हैं. डॉक्टर भट्टाचार्य का कहना है कि हम लोगों को कॉस्मेटिक ट्रीटमेंट करने से पहले ही उसके होने वाले साइड इफेक्ट्स के बारे में बता देते हैं. इतना ही नहीं, अगर पेशेंट कॉस्मेटिक सर्जरी या किसी भी सर्जरी के दौरान स्ट्रेस लेता है तो इसका इफेक्ट बॉडी पर पड़ता ही है. इसके साथ ही मरीज को ये सुनिश्चित कर लेना चाहिए कि ट्रीटमेंट से पहले उनका स्किन टेस्ट, एलर्जी टेस्ट, मेटाबॉलिज्म रेटिंग टेस्ट इस तरह के जरूरी टेस्ट हो चुके हों.


लाइपोसक्शन सर्जरी एक्सपर्ट डॉ. नि‍शांत का कहना है कि लाइपोसक्शन सर्जरी और बेरियाट्रिक सर्जरी दोनों ही मरीज के लिए फायदेमंद हैं. वजन कम करने वाली सर्जरी मरीजों के लिए फायदेमंद है लेकिन ये सर्जरी उन्‍हीं लोगों की होती हैं जिनको इसकी सबसे ज्यादा जरूरत होती है. डॉक्टर का कहना है कि किसी भी सर्जरी के दौरान जो इफेक्ट बॉडी को होते हैं वजन कम करने वाली सर्जरी के दौरान भी वही इफेट्स रहते हैं. इस तरह की सर्जरी से कार्डिएक इफेक्ट नहीं होते. लेकिन बेहोशी के लिए जाने वाला एनेस्थिसिया का इफेक्‍ट बेशक हार्ट और लीवर पर पड़ता है लेकिन ये तो अन्य सर्जरी में भी दिया जाता है. किसी भी चीज की अति शरीर के लिए नुकसानदायक हो सकती है. हां, हार्मोस को कम-ज्यादा करने वाले ट्रीटमेंट का बॉडी पर बहुत इफेक्ट पड़ता है क्योंकि इससे बॉडी के नेचर को अल्टर किया जा रहा है. हार्मोन ट्रीटमेंट को मान्यता भी प्राप्त नहीं है.


ये एक्सपर्ट के दावे पर हैं. ABP न्यूज़ इसकी पुष्टि नहीं करता. आप किसी भी सुझाव पर अमल या इलाज शुरू करने से पहले अपने एक्सपर्ट की सलाह जरूर ले लें.