वाशिंगटन: दिल के दौरे या स्ट्रोक का जोखिम कम करने के लिए दी जाने वाली दवा स्टैटिन्स टायफाइड बुखार, क्लैमाइडिया और मलेरिया जैसे रोगों के से लड़ने में भी मदद कर सकती हैं.



अमेरिका की ड्यूक यूनिवर्सिटी के वैज्ञानिकों ने एक रिसर्च में उस जीन का पता लगाया है जो कॉलेस्ट्रॉल के स्तर को प्रभावित करता है और जो टायफाइड बुखार का जोखिम बढ़ा सकता है.

उन्होंने यह भी बताया कि कॉलेस्ट्रॉल को कम करने वाली आम दवा (एजेटिमाइब या जीटा) सल्मोनेला टाइफी इंफेक्शन जेब्राफिश से भी लड़ने में मदद करता है.

रिसर्च के परिणाम प्रोसीडिंग्स ऑफ नेशनल एकेडमी ऑफ साइंसेज पत्रिका में पब्लि‍श हुए हैं.

ड्यूक यूनिवर्सिटी स्कूल ऑफ मेडिसिन के सहायक प्रोफेसर ने कहा कि हमें इसे क्लिनिक में ले जाने पर विचार करने से पहले चूहे जैसे विभिन्न जीव मॉडलों पर इसको आजमाने की आवश्यकता है.

नोट: ये रिसर्च के दावे पर हैं. ABP न्यूज़ इसकी पुष्टि नहीं करता. आप किसी भी सुझाव पर अमल या इलाज शुरू करने से पहले अपने डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें.