Tears Reason: इंसान के बॉडी में सबसे महत्वपुर्ण अंग उसकी आंखे(Eyes) होती हैं, जो कि काफी सेंसिटिव होती है. किसी की हल्की सी आहट से ये तुरंत झपकने लगती है या तो डर के मारे पुतिलियां फैल जाती है. नींद में पलके बंद हो जाते हैं तो वहीं खुशी और गम में आंसू निकल(Tears) आते हैं. 


आपको बतादें कि आंखों में आंसू आने के पीछे शरीर कर पूरा विज्ञान काम करता है. इंसान के आंख में आए आंसू की वजह दुख, परेशानी या बेहद खुशी के मौके पर ही नहीं बल्कि किसी खास स्मेल या फिर चेहरे पर तेज हवा के लगने की वजह से भी आती है. जैसे प्याज काटने पर भी आंखों से आंसू आने लगते हैं(Tears Reason). 


कभी भी किसी की खुशी हो या गम उससे जुड़ा व्यक्ति अपने गम या खुशी को जाहिर करने के लिए अपने आंखों से आंसू बहा कर उस बात को जाहिर करता है. हम में से कई लोग हैं कि उसके खुशी का कोई ठिकाना नहीं रहता तो वह कभी कभी अपनी बातों को बयान करने के लिए भी फूट फूट कर रोने लगता है. वहीं कई लोग किसी भी गम या दुखी वाली घटना को लेकर अपने आप पर कंट्रोल रख नहीं पाते और वह फफक फफक रो कर अपने दिल का हाले बयान करते हैं.


आपको बतादें कि आंसू बहाने की अलग अलग कैटिगरी भी होती है. जी बिलकुल कई लोग ऐसे भी होते हैं जो ओरो की तुलना में उतने आंसू नहीं बहा पाते. ऐसा इसलिए क्योंकि उन्हें या तो अपने आप पर काबू रहता है या फिर वह उस बात या घटना से अपने आपको उतना जोड़ नहीं पाते यानि की उनमें भावनाएं कम भी हो सकती है. यही कारण है कि कई लोग उसी घटना को लेकर इतने ज्यादा गमगीन हो जाते हैं कई समय तक आंसू बहाते रहेंगे तो वहीं कई लोगों के कम या ना के बाराबर आंसू बहते हैं.


जानें क्यों लड़कों के मुकाबले लड़कियां रोती हैं ज्यादा 
एक अघ्ययन के मुताबिक 10 से 11 साल की उम्र में जब लड़का और लड़की अपने लिंग को पहचानने लगते हैं, तबसे लड़कियां लड़कों के मुकाबले ज़्यादा रोती हैं और ये ताउम्र जारी रहता है.


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