प्रेग्नेंसी का आखिरी महीना हर मां के लिए बहुत महत्वपूर्ण होता है. इस समय सही देखभाल और तैयारी से नार्मल डिलीवरी के दौरान प्रसव पीड़ा को कम किया जा सकता है. कुछ विशेष उपाय अपनाकर आप इस अनुभव को सुखद और आसान बना सकती हैं. यह न केवल आपके शारीरिक हेल्थ को बनाए रखने में मदद करेगा, बल्कि मानसिक रूप से भी आपको मजबूत बनाएगा. आइए, जानते हैं कि प्रेग्नेंसी के आखिरी महीने में क्या-क्या करना चाहिए ताकि नार्मल डिलीवरी हो और प्रसव पीड़ा कम हो. 


रोजाना व्यायाम करें
रोजाना व्यायाम करना प्रेग्नेंसी के दौरान बहुत फायदेमंद होता है. हल्की स्ट्रेचिंग, वॉकिंग और प्रेग्नेंसी योग करने से शरीर लचीला रहता है और मांसपेशियों की ताकत बढ़ती है.आखिरी महीने में आप आराम से कर सकती है. इससे प्रसव के समय दर्द कम होता है और डिलीवरी आसान होती है. हर दिन कम से कम 30 मिनट टहलना और हल्की एक्सरसाइज करना बहुत फायदेमंद हो सकता है. 



  • पेल्विक टिल्ट्स (Pelvic Tilts) : पेल्विक टिल्ट्स से आपके पेल्विक क्षेत्र की मांसपेशियों को मजबूत बनाने में मदद मिलती है, जिससे प्रसव के समय दर्द कम होता है. कैसे करें: पीठ के बल लेटें और घुटनों को मोड़ें. धीरे-धीरे अपनी पीठ को फर्श से उठाएं और फिर नीचे करें. इस प्रक्रिया को 10-15 बार दोहराएं.

  • कैट-काउ स्ट्रेच (Cat-Cow Stretch) यह एक्सरसाइज पीठ और पेट की मांसपेशियों को मजबूत बनाने में मदद करती है और प्रसव के दौरान दर्द को कम करती है.

  • कैसे करें: अपने हाथों और घुटनों के बल खड़े हों. पहले अपनी पीठ को ऊपर की ओर मोड़ें (कैट पोज़) और फिर नीचे की ओर झुकाएं (काउ पोज़). इस प्रक्रिया को 10-15 बार दोहराएं.

  • दीवार के साथ स्क्वैट्स (Wall Squats) : यह एक्सरसाइज पेल्विक और जांघ की मांसपेशियों को मजबूत बनाती है. कैसे करें: अपनी पीठ को दीवार के सहारे लगाएं और धीरे-धीरे बैठें, जैसे कि आप एक कुर्सी पर बैठ रही हैं. कुछ सेकंड रुकें और फिर वापस खड़े हो जाएं. इसे 10-15 बार दोहराएं. 


मसाज और वार्म बाथ
मसाज और वार्म बाथ से मांसपेशियों को आराम मिलता है और दर्द कम होता है. नारियल तेल या जैतून के तेल से हल्का मसाज करें. गर्म पानी से नहाने से भी शरीर को राहत मिलती है. इससे आपकी मांसपेशियां रिलैक्स होंगी और प्रसव के समय दर्द कम होगा. 


कम खाना 
शिशु का अधिक वजन होने से नार्मल डिलीवरी में कठिनाई हो सकती है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि मां को खाना कम करना चाहिए. इसके बजाय, सही तरीके से पोषण प्राप्त करना और वजन पर नियंत्रण रखना जरूरी है. मिठाई, तली-भुनी चीजें और जंक फूड से बचें. ये चीजें वजन बढ़ा सकती हैं और शिशु का वजन भी बढ़ा सकती हैं. 


Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.


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