नई दिल्लीः बहुत से लोगों को चॉकलेट खाने का खूब मन करता है. कुछ लोग चॉकलेट के बिना रह नहीं पाते. लेकिन क्या आप जानते हैं चॉकलेट क्रेविंग का भी इलाज है. जी हां, हाल ही में एक रिसर्च में चॉकलेट क्रेविंग से लड़ने का तरीका खोजा गया है.

क्या कहती है रिसर्च-
रिसर्च के मुताबिक, आप इमैजिन कीजिए की आप जंगल में या बीच पर हैं. इस तरह से इमेजिन करते ही चॉकलेट खाने की इच्छा खुद-ब-खुद कम हो जाएगी. रिसर्च इस ओर संकेत करती है कि लोग सेल्फ अवेयरनेस से क्रेविंग से छुटकारा पा सकते हैं. यहां तक की चॉकोहोलिक थॉट्स को भी दूर कर सकते हैं. ऐसा करने से आपका लाइफस्टाइल हेल्दी हो सकता है.

क्या कहते हैं एक्सपर्ट-
ऑस्ट्रेलिया में फ्लिंडर्स यूनिवर्सिटी में पीएचडी उम्मीदवार सोफी शूमाकर के मुताबिक, जब पहली बार इस तरह से किसी चीज की क्रेविंग होती है तो शुरूआत में ही इसे टैकल कर लेना चाहिए. खासतौर पर तब जब हमें भूख ना लग रही हो. ऐसा करना तब ज्‍यादा आसान हो जाता है.

सोफी शूमाकर का कहना है कि अपना ध्यान किसी क्रिएटिव चीज में लगाकर भी आप क्रेविंग को कम कर सकते हैं. अगर आप इमेजिन करते हैं कि आप जंगल में है तो आपकी चॉकलेट खाने की इच्छा वैसे भी कम ही हो जाएगी. एक्सपर्ट कहते हैं कि हमें शुरूआत में ही क्रेविंग को टारगेट करना चाहिए. ताकि वो बढ़कर परेशानी का सबब ना बन जाएं.

शोधकर्ताओं ने एक थ्योरी के जरिए एक टेस्ट किया जिसे इलाबोरेट- इन्ट्रूश़न थ्योरी नाम दिया गया. इस थ्योरी में दो टेक्नीक्स को कॉग्निटिव डिफ्यूजन और गाइडिड इमेजरी को इस्तेमाल किया गया जो कि चॉकलेट क्रेविंग को कम करती है. कॉग्निटव डिफ्यूजन क्रेविंग उस समय की फर्स्ट स्टेज है जब गाइडिड इमेजरी टेक्नीक सेकेंड स्टेज को टारगेट करती है. शोधकर्ताओं का कहना है कि अगर आप इस बात से शुरू में ही जागरूक हो जाएं कि थॉट्स कैसे आपके बिहेवियर को इन्फ्लूएंस करेंगे तो ये पहला अच्छा स्टेप होगा.