International Yoga Day 2022: अगर आप पहली बार योगाभ्यास शुरू कर रहे हैं तो ऐसे कई योगासन हैं जिन्हें सीखकर आप आसानी से इनका अभ्यास कर सकते हैं. इन योगासनों को योग क्लास के अलावा घर में भी किया जा सकता है. इससे फ्लेसिबिलिटी में सुधार होगा. साथ ही तनाव को दूर करने में भी मदद मिलेगी.
अधोमुख श्वानासन
- अधोमुख श्वानासन पूरे शरीर को अच्छा खिंचाव और मजबूती देता है. इस आसन के अभ्यास से स्ट्रेस, डिप्रेशन और अनिद्रा जैसी समस्याओं को दूर करने में मदद मिलेगी.
- योग मैट पर पेट के बल लेट जाएं. सांस खींचते हुए पैरों-हाथों के बल शरीर को उठाएं और टेबल जैसी आकृति बनाएं. सांस को बाहर निकालते हुए धीरे-धीरे हिप्स को ऊपर की तरफ उठाएं. सुनिश्चित करें कि शरीर उल्टे 'V' के आकार में आ जाए.
- इस आसन के अभ्यास के दौरान कंधे और हाथ एक सीध में रहें. पैर हिप्स की सीध में रहेंगे. अब हाथों को नीचे जमीन की तरफ दबाएं. गर्दन को लंबा खींचने की कोशिश करें. कुछ सेकेंड्स तक रुकें और उसके बाद घुटने जमीन पर टिका दें.
वृक्षासन
पेड़ की तरह खड़े रहकर और संतुलन बनाकर किया जाने वाला वृक्षासन बिगिनर्स के लिए परफेक्ट आसन है. ये आसन फोकस बढ़ाने और संतुलन हासिल करने में मदद करता है. इस आसन के अभ्यास के दौरान आप सांसों को बैलेंस करना और एक पैर पर शरीर का संतुलन बनाना सीखते हैं.
योग मैट पर सावधान की मुद्रा में सीधे खड़े हो जाएं. दोनों हाथ को जांघों के पास ले आएं. धीरे-धीरे दाएं घुटने को मोड़ते हुए उसे बाईं जांघ पर रखें. बाएं पैर को इस दौरान मजबूती से जमीन पर जमाए रखें. बाएं पैर को एकदम सीधा रखें और सांसों की गति को सामान्य करें. धीरे से सांस खींचते हुए दोनों हाथों को ऊपर की तरफ उठाएं. दोनों हाथों को ऊपर ले जाकर 'नमस्कार' की मुद्रा बनाएं. रीढ़ की हड्डी को सीधा रखें. गहरी सांसें भीतर की ओर खींचते रहें.
सांसें छोड़ते हुए शरीर को ढीला छोड़ दें. धीरे-धीरे हाथों को नीचे की तरफ लेकर आएं. अब दाएं पैर को भी जमीन पर लगाएं. वैसे ही खड़े हो जाएं जैसे आप आसन से पहले खड़े थे. इसी प्रक्रिया को अब बाएं पैर के साथ भी दोहराएं.
ब्रिज पोज या सेतुबंधनासन
पीठ के तनाव और ऐंठन को दूर करने के लिए ब्रिज पोज एक बेहतरीन आसन है. सेतु बंधासन, असल में अधोमुख श्वानासन का विपरीत आसन है. अधोमुख श्वानासन में जहां शरीर को आगे की तरफ से झुकाया जाता है. वहीं सेतु बंधासन में शरीर को पीछे की तरफ से झुकाया जाता है.
योग मैट पर पीठ के बल लेट जाएं. सांसो की गति सामान्य रखें. इसके बाद हाथों को बगल में रख लें. अब धीरे-धीरे अपने पैरों को घुटनों से मोड़कर हिप्स के पास ले आएं. हिप्स को जितना हो सके फर्श से ऊपर की तरफ उठाएं. कुछ देर के लिए सांस को रोककर रखें. इसके बाद सांस छोड़ते हुए वापस जमीन पर आएं. पैरों को सीधा करें और विश्राम करें. 10-15 सेकेंड तक आराम करने के बाद फिर से शुरू करें.
सूर्य नमस्कार
सूर्य नमस्कार एक बेहतरीन योगाभ्यास है जो आपको गर्म रखने में मदद करता है. यह आपके लचीलेपन में सुधार और वार्म अप करने के लिए एक छोटे से योग सेशन की शुरुआत में भी किया जा सकता है.
सूर्य भेदन प्राणायाम
यह सांस लेने की तकनीक पर केंद्रित है जो फेफड़ों की क्षमता, तंत्रिका कोशिकाओं में सुधार करती है. सूर्य भेदन प्राणायाम वैकल्पिक श्वास के माध्यम से शरीर के तापमान को बनाए रखने में मदद करता है जिसमें आप दाएं नथुने से श्वास लेते हैं. सांस को रोकते हैं और बाईं ओर से छोड़ते हैं.
Disclaimer: इस आर्टिकल में बताई विधि, तरीक़ों व दावों की एबीपी न्यूज़ पुष्टि नहीं करता है. इनको केवल सुझाव के रूप में लें. इस तरह के किसी भी उपचार/दवा/डाइट पर अमल करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
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