जब छोटे बच्चों को टीका लगता है, तो वे दर्द की वजह से ज्यादा रोते हैं. इस समय मां के लिए बच्चे को शांत करने का सबसे अच्छा तरीका होता है उसे दूध पिलाना. लेकिन कुछ लोगों का मानना है कि टीके के तुरंत बाद दूध पिलाने से टीके का असर कम हो सकता है. आइए जानते हैं कि क्या टीका लगने के बाद बच्चे को दूध पिलाना कितना सही है. एक्पर्टस के अनुसार.
दरअसल, कुछ डॉक्टर सलाह देते हैं कि टीकाकरण के कम से कम आधे घंटे बाद तक बच्चे को दूध न पिलाया जाए. उनका मानना है कि इससे टीके की प्रभाव पर असर पड़ सकता है, हालांकि इसके पीछे कोई ठोस वैज्ञानिक सबूत नहीं हैं. लेकिन कई रिसर्च में यह सही माना गया है.
जानें रिसर्च के बारे में
एक दिलचस्प अध्ययन के अनुसार, जब बच्चों को ओरल रोटावायरस टीका दिया जाता है और उसके तुरंत बाद उन्हें मां का दूध पिलाया जाता है, तो इससे टीके की कारगरता पर असर पड़ सकता है. यह अध्ययन 2010 में किया गया था, जिसमें भारत, वियतनाम, दक्षिण कोरिया और संयुक्त राज्य अमेरिका की महिलाओं से ब्रेस्ट मिल्क के नमूने एकत्रित किए गए थे. इन नमूनों का परीक्षण किया गया था कि टीकाकरण के तीन दौर में मां का दूध किस प्रकार टीके की असर को प्रभावित करता है.
टीके का असर हो जाता है कम
इस अध्ययन में पता चला कि खासकर भारतीय महिलाओं के दूध में रोटावायरस के खिलाफ उच्च स्तर के एंटीबॉडीज पाए गए, जो टीके की प्रभावशीलता को कम कर सकते हैं. इससे यह संकेत मिलता है कि रोटावायरस टीकाकरण के बाद शिशु को तुरंत दूध पिलाना उचित नहीं हो सकता है. इसलिए, इस प्रकार के टीके के मामले में, डॉक्टरों की सलाह मानना और उनके निर्देशानुसार चलना सबसे बेहतर होता है.
टीके लगवाते समय इन बातों का रखें ख्याल
- पूरी जानकारी रखें: टीके के बारे में पूरी जानकारी जुटा लें और यह समझें कि यह टीका क्यों जरूरी है.
- डॉक्टर से सलाह लें: टीका लगवाने से पहले डॉक्टर से मिलें और कोई भी डाउट्स क्लियर कर लें.
- बच्चे की हेल्थ स्थिति: अगर बच्चा बीमार है तो टीकाकरण के लिए उसकी स्थिति की जांच करवाएं.
- बच्चे को आरामदायक रखें: टीकाकरण से पहले और बाद में बच्चे को आरामदायक कपड़े पहनाएं.
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