(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Baglamukhi Jayanti 2021: शत्रु और रोग पर प्राप्त करनी है विजय तो आज मां बगलामुखी जयंती की ऐसे करें पूजा
Baglamukhi Jayanti 2021 Date: हिंदू पंचांग के अनुसार, आज वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि है. इस तिथि को मां बगलामुखी की जयंती मनाई जाती है. आइये जानें मां बंगलामुखी की पूजा विधि.
Baglamukhi Jayanti 2021 Puja Vidhi: हिंदू पंचांग के अनुसार, आज वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि है. हिंदू धर्म ग्रंथों के अनुसार, हर साल इस तिथि को बगलामुखी जयंती मनाई जाती है. इस साल बगलामुखी जयंती आज यानी 20 मई को मनाई जा रही है. इस दिन मां दुर्गा के 8वें अवतार बगलामुखी की विधि-विधान से पूजा की जाती है.
हिंदू धर्म ग्रंथों के मुताबिक़, मां बगलामुखी की साधना रात्रि के प्रहर में की जाती है. इन्हें पीला रंग बेहद प्रिय है. इस लिए इन्हें पीताम्बरा भी कहते हैं. इनकी पूजा में विशेष रूप से पीले रंग का उपयोग किया जाता है. आइये जानें मां बगलामुखी की पूजा के लिए शुभ मुहूर्त, पूजा विधि और महत्त्व.
बगलामुखी जयंती 2021: शुभ मुहूर्त
- बगलामुखी जयंती तिथि : 20 मई 2021
- पूजा का शुभ समय : सुबह 11 बजकर 50 मिनट से दोपहर 12 बजकर 45 मिनट तक.
- पूजा की कुल अवधि : 55 मिनट.
कौन हैं मां बगलामुखी?
मां बगलामुखी को मां दुर्गा का 8वां अवतार माना जाता है. इन्हें 10 महाविद्या में से 8वीं महाविद्या कहा गया है. मान्यता है कि इनमें पूरे संसार की शक्तियों का समावेश होता है.
मां बगलामुखी की पूजा का महत्त्व
मां बगलामुखी की पूजा करने से भक्त अपने शत्रुओं पर विजय प्राप्त करता है. उसके अंदर से सभी प्रकार के भय नष्ट हो जाते हैं. वह भयंकर रोगों पर विजय प्राप्त करता है. मां बगलामुखी की कृपा से भक्त की सभी प्रकार की समस्याएं और बाधाएं नष्ट हो जाती हैं. जीवन आनंद और सुखमय होता है.
मां बगलामुखी की पूजा विधि:
मां बगलामुखी की जयंती के दिन प्रातः काल उठकर स्नानादि करके पीला वस्त्र धारण कर पूजा स्थल बैठे. पूजा चौकी पर पीले वस्त्र बिछाकर मां बगलामुखी की मूर्ति स्थापित करें. अब कलश स्थापित कर पूजा का संकल्प लें. मां बगलामुखी को अक्षत्, चंदन, रोली, बेलपत्र, पान, मौसमी फल, सिंदूर, पीले पुष्प, धूप, गंध, नैवेद्य आदि अर्पित करें. अब बगलामुखी कवच का पाठ कर आरती करें. फिर घर परिवार में माता रानी का प्रसाद वितरण करें.