Mahabharat Ki Katha: महाभारत की कथा जीवन को जीने की कला भी सीखाती है. महाभारत की कथा सिर्फ कौरवों और पाण्डवों तक ही सीमित नहीं है. महाभारत की कथा लंबी आयु और उत्तम स्वस्थ्य के बारे में भी महत्वपूर्ण जानकारी देती है.


भीष्म पितामह के बिना महाभारत की कथा अधूरी मालूम पड़ती है. महाभारत की कथा में भीष्म पितामह की भूमिका बहुत ही अहम और प्रभावशाली है. भीष्म पितामह के बारे में कहा जाता है कि उन्होंने जीवन भर धर्म का पालन किया. 


महाभारत का युद्ध कितने दिनों तक चला
महाभारत का युद्ध 18 दिनों तक चला. भीष्म पितामह कौरवों की सेना के सेनापति थी. भीष्म पितामह जब पाण्डवों की सेना पर भारी पड़ने लगे तो पाण्डवों की सेना में हड़कंप मच गया है. सैनिक भयभीत होने लगे. तब श्रीकृष्ण ने भीष्म पितामह से हाथ जोड़कर विनम्रता से मृत्यु का उपाय पूछा.


शिखंडी बना भीष्म की मौत का कारण
उपाय जानने के बाद अगले दिन पांडव शिखंडी को भीष्म के समाने खड़ा कर देते हैं. भीष्म शिखंडी को सामने पाकर अपने अस्त्र  और शस्त्र त्याग देते हैं. अर्जुन छिपकर भीष्म पितामह को तीरों से छलनी कर देते हैं और युद्ध के दसवें दिन भीष्म पितामह तीरों की शैया पर लेट जाते हैं. तीरों की शैया पर लेटकर भीष्म युधिष्ठिर को ज्ञान प्रदान करते हैं और आयु और सेहत से जुड़ी ये 12 अहम बातें बताते हैं-



  1. मन को काबू में रखना.

  2. घमंड नहीं करना.

  3. विषयों की तरफ बढ़ती इच्छाओं को रोकना.

  4. कटु वचन सुनकर भी उतर नहीं देना.

  5. किसी भी चोट पर शांत और धैर्य रखना.

  6. अतिथि व लाचार को आश्रय देना.

  7. निन्दा रस से दूर रखना.

  8. नियमपूर्वक शास्त्र पढ़ना व सुनना.

  9. दिन में नहीं सोना. 

  10. स्वयं आदर न चाहकर दूसरों को आदर देना. 

  11. क्रोध के वशीभूत नहीं रहना.

  12. स्वाद के लिए नहीं स्वास्थ्य के लिए भोजन करना.


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