Chanakya Niti Hindi: चाणक्य के अनुसार व्यक्ति अपने कार्यों से छोटा और बड़ा बनता है. अच्छे कार्य करने वाला व्यक्ति समाज में सम्मान प्राप्त करता है. वहीं गलत कार्य करने वाला व्यक्ति अपयश प्राप्त करता है.
चाणक्य नीति कहती है कि व्यक्ति को सदैव अच्छे कार्यों को करने के लिए तैयार रहना चाहिए. क्योंकि व्यक्ति का आंकलन उसके कार्यों से ही किया जाता है. व्यक्ति को इस तरह के कार्यों को करने के लिए हमेशा तैयार रहना चाहिए-
परोपकार करने से कभी मत चूकें
व्यक्ति को जब किसी की मदद करने का अवसर प्राप्त हो तो उसे छोड़ना नहीं चाहिए. मदद के लिए व्यक्ति को सदैव तैयार रहना चाहिए. व्यक्ति का धर्म है कि वो दूसरों की मदद करे. समाज में जब तक यह परंपरा बनी रहेगी. समाज और राष्ट्र प्र्रगति के पथ पर अग्रसर रहेगा.
मानव हित के कार्यों में योगदान दें
व्यक्ति को लोग उसके कार्यों से ही याद रखते हैं. व्यक्ति जितने अच्छे कार्य करता है उसकी ख्याति का उतनी ही सर्वव्यापी होती है. अच्छे कार्यों में मानव कल्याण की भावना छिपी होती है. जब व्यक्ति मानव कल्याण के बारे में विचार करता है और उसमें अपना श्रम देता है तो ऐसे व्यक्ति समाज के लिए अनुकरणीय बन जाते हैं. दूसरों लोग ऐसे व्यक्ति का उदाहरण देते हैं.
समाज सेवा से मिलती है मन को शांति
समाज सेवा से जुड़े कार्यों को करने के लिए व्यक्ति को सदैव सहयोग प्रदान करना चाहिए. समाज सेवा तन,मन और धन तीनों से की जा सकती है. समाज सेवा करने वालों से ईश्वर भी प्रसन्न रहता है ऐसे लोगों का जीवन सुख शांति से पूर्ण होता है. समाज सेवा व्यक्ति के आत्मविश्वास में वृद्धि करती है. समाज सेवा में ही इंसानियत का धर्म छिपा होता है. समाज की सेवा बहुत ही पुण्य कार्य है. चाणक्य के अनुसार व्यक्ति को जब भी समाज की सेवा करने का अवसर मिले, उसे तुरंत अपना योगदान देना चाहिए.
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