Ganesh Visarjan Vidhi: गणेश विसर्जन पंचांग के अनुसार 1 सितंबर को अनंत चतुर्दशी के दिन किया जाएगा. मुंबई समेत पूरे देश में अनंत चतुर्दशी के दिन गणेश विसर्जन किया जाएगा. गणेश चतुर्थी के दिन भगवान गणेश जी की घर में श्रद्धाभाव से स्थापित किया जाता है. दस दिन तक भगवान गणेश को घर में स्थापित कर उनकी पूजा की जाती है. गणेश जी को उनकी प्रिय चीजों का भोग लगाया जाता है. गणेश चतुर्थी से अनंत चतुर्दशी तक इस पर्व को गणेश महोत्सव के रूप में मनाया जाता है. 11वें दिन गणपति बप्पा को विदाई दी जाती है.
बप्पा को ऐसे दी विदाई
बप्पा को विदा करने से पूर्व विधि पूर्वक पूजा करें. विसर्जन करने से पहले भगवान को मोदक सहित उनकी प्रिय चीजों का भोग लगाएं. अगले वर्ष पुन: घर आने की विनती करें. दस दिनों में भूलवश को गलती हो गई है तो उसके लिए माफी मांगे. सुख-समृद्धि और बुद्धि प्रदान करने की प्रार्थना करें. आर्शीवाद स्वरूप रिद्धि और सिद्धि प्रदान करें, ऐसी कामना करनी चाहिए. गणपति को विदा करते समय बहुत कष्ट होता है. लेकिन नियमों का पालन करते हुए विसर्जन करना चाहिए.
गणेश जी का मिलता है आर्शीवाद
गणेश जी की सच्चे मन से सेवा और पूजा करने से विशेष फल की प्राप्ति होती है. गणेश जी बुद्धि के दाता हैं. गणेश जी बहुत जल्द प्रसन्न होने वाले देवता माने जाते हैं. गणेश जी को प्रथम देव का स्थान प्राप्त है. इसलिए किसी भी कार्य को आरंभ करने से पूर्व सर्वप्रथम गणेश जी का स्मरण किया जाता है. इससे शुभ कार्य में आने वाले विघ्न दूर हो जाते हैं.
गणेश विसर्जन विधि
1 सितंबर को अनंत चतुर्दशी के दिन सुबह स्नान करने के बाद भगवान गणेश की पूजा करें. गणेश विसर्जन से पूर्व गणेश मंत्र और गणेश आरती का पाठ जरुर करें. पूजा स्थल पर स्वास्तिक का चिन्ह बनाएं. इसके बाद शुभ मुहूर्त में गणेश विसर्जन करें.
गणेश विसर्जन के शुभ मुहूर्त
प्रात:काल मुहूर्त: सुबह 09:10 बजे से दोपहर 01:56 बजे तक
गणेश विसर्जन दोपहर का मुहूर्त: दोपहर 15:32 बजे से सांय 17:07 बजे तक
गणेश विसर्जन शाम का मुहूर्त: शाम 20:07 बजे से 21:32 बजे तक
गणेश विसर्जन रात्रिकाल मुहूर्त: रात्रि 22:56 बजे से सुबह 03:10 बजे तक है.