Hariyali Teej 2022: हिंदू पंचांग के अनुसार हरियाली तीज का व्रत (Hariyali Teej 2022 Vrat) हर साल सावन माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया को रखा जाता है. यह व्रत करवा चौथ की तरह होता है. इस बार हरियाली तीज का व्रत (Hariyali Teej 2022 Vrat) 31 जुलाई 2022 दिन रविवार को रखा जाएगा. हरियाली तीज का व्रत (Hariyali Teej 2022 Vrat) रखने से सुहागिन महिलाओं को भगवान शिव और माता पार्वती से अखंड सौभाग्य का वरदान प्राप्त होता है तथा उनकी सेहत सुंदर होती है.
हरियाली तीज व्रत में हरे रंग की शुभता (Importance of Green Colour in Hariyali Teej 2022)
हरियाली तीज व्रत (Hariyali Teej 2022 Vrat) में हरे रंग का विशेष महत्व है. हरे रंग को भक्ति और श्रृंगार का प्रतीक माना जाता है. यह आंखों और शरीर के लिए बहुत फायदेमंद होता है. हरा रंग सौभाग्य की निशानी होता है. भगवान शिव को हरा रंग बेहद प्रिय है. सावन के महीने में प्रकृति में चारों तरफ हरे रंग की छटा बिखरी रहती है.
इस लिए हरियाली तीज व्रत में (Hariyali TeejVrat 2022) सुहागिन महिलाएं हरे परिधान के साथ –साथ हरी चूड़ियां या कंगन भी पहनती हैं. सुहागिन महिलायें हरियाली तीज व्रत में हरे रंग के वस्त्र धारण कर भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा करती हैं तथा पति की लंबी उम्र और अच्छी सेहत के लिए प्रार्थना करती हैं. इस व्रत को अखंड सौभाग्य का प्रतीक भी माना जाता है.
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस दिन भगवान शिव और माता पार्वती का मिलन हुआ था. कहा जाता है कि इस दिन माता पार्वती ने अपने आपको प्रकृति के रूप में रंग लिया था और भगवान भोलेनाथ की भक्ति में लीन हो गई थी. यह भी मान्यता है कि सावन मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को माता पार्वती ने भगवान शिव को पति के रूप में पाने के लिए विशेष पूजा और कठोर तप किया था. तब माता पार्वती ने भगवान शिव को पति के रूप में प्राप्त किया था.
हरियाली तीज 2022 व्रत तिथि (Hariyali Teej Vrat 2022 Shubh Tithi)
- सावन माह के शुक्ल पक्ष की तृतीया का प्रारंभ: 31 जुलाई 2022 दिन रविवार
- शुक्ल पक्ष की तृतीया का समापन: 1 अगस्त दिन सोमवार को सुबह 4:20 पर
- हरियाली तीज का व्रत 31 जुलाई को रखा जाएगा.
हरियाली तीज व्रत का महत्व (Hariyali Teej Vrat 2022 importance)
हरियाली तीज ( Hariyali Teej 2022) पर महिलाएं हरे रंग का वस्त्र धारण करती हैं. माथे पर हरी बिंदी और हाथों में हरी चूड़ियां पहनती हैं. सोलह श्रृंगार करके भगवान शिव (Lord Shiv) और माता पार्वती (Mata Parvati) की आराधना करती हैं. इससे भगवान शिव और माता पार्वती की कृपा से उन्हें अखंड सौभाग्यवती होने का वरदान प्राप्त होता है.
कुंवारी कन्याएं हरे रंग का वस्त्र पहन कर अच्छे पति प्राप्त करने की लालसा से हरियाली तीज (Hariyali Teej 2022 Vrat) का व्रत रखती हैं.
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